Indian Railways: बाराबंकी में रेलवे ट्रैक पर गिरा पेड़, दुर्घटनाग्रस्त होने से बची साबरमती एक्सप्रेस

Indian Railways दरियाबाद से पटरंगा रेलवे स्टेशन के बीच साबरमती एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटनाग्रस्त होने से बच गई। ट्रेन नंबर 9167 दरियाबाद स्टेशन से दो बजकर 57 मिनट पर अयोध्या के लिए रवाना हुई लेकिन पटरंगा से पहले ही ट्रेन पर एक पेड़ गिरा। पेड़ इंजन से टकराया।

By Vikas MishraEdited By: Publish:Thu, 16 Sep 2021 01:00 PM (IST) Updated:Thu, 16 Sep 2021 01:21 PM (IST)
Indian Railways: बाराबंकी में रेलवे ट्रैक पर गिरा पेड़, दुर्घटनाग्रस्त होने से बची साबरमती एक्सप्रेस
स्टेशन अधीक्षक दरियाबाद पीयूष वर्मा ने बताया कि इंजन से पेड़ टकराया था।

बाराबंकी, जागरण संवाददाता। दरियाबाद से पटरंगा रेलवे स्टेशन के बीच साबरमती एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटनाग्रस्त होने से बच गई। ट्रेन नंबर 9167 दरियाबाद स्टेशन से दो बजकर 57 मिनट पर अयोध्या के लिए रवाना हुई, लेकिन पटरंगा से पहले ही ट्रेन पर एक पेड़ गिरा। पेड़ इंजन से टकराया। इंजन के आगे लगा काऊ कैटल क्षतिग्रस्त हुआ। पायलट ने ट्रेन रोक कर पटरंगा स्टेशन व दरियाबाद समेत कंट्रोल रूम को सूचना दी। रेलवे कर्मियों ने ट्रैक पर गिरे पेड़ को हटाया। करीब चार घंटे का वक्त लगा।

इस दौरान रेलवे यातायात बाधित रहा। स्टेशन अधीक्षक दरियाबाद पीयूष वर्मा ने बताया कि इंजन से पेड़ टकराया था। इसके कारण ट्रेन खड़ी हो गई थी। ट्रैक से पेड़ों को हटाने के बाद ट्रेन रवाना 6 बजकर 55 मिनट पर रवाना हो सकी है। अयोध्या की तरफ रेलवे ट्रैक पर काफी पेड़ों के गिरने की सूचना है। पेड़ों को हटाया जा रहा है। ट्रेन आवागमन काफी देर तक प्रभावित रहा।

यह ट्रेन रहीं प्रभावित: रेल ट्रैक पर पेड़ गिरने से कई ट्रेनें प्रभावित हुई। इनमें सद्भावना एक्सप्रेस दरियाबाद स्टेशन पर ही कई घंटे खड़ी रही। अमृतसर जाने वाली स्पेशल ट्रेन अमृतसर-जयनगर एक्सप्रेस (4652) पटरंगा की तरफ से यातायात सुचारु होने के बाद दरियाबाद स्टेशन पर पहुंची। यह भी कई घंटे देरी से रवाना हो सकी।

पहले भी हो चुका है हादसा: तीन वर्ष पूर्व मई 2018 में दरियाबाद -पटरंगा रेलवे स्टेशन के मध्य लखनऊ जा रही पटना-कोटा एक्सप्रेस ट्रेन पतुलकी गांव के पास दुर्घटना का शिकार हुई थी। रेलवे ट्रैक पर लकड़ी के बोटे के कारण ट्रेन दुर्घटना ग्रस्त हुई। इमरजेंसी ब्रेक लगाते ही ट्रैक से ट्रेन के इंजन समेत कई डिब्बे उतर गए। जगह-जगह पटरियां टूट गई थीं। रात साढ़े ग्यारह बजे क्षतिग्रस्त हुई ट्रेन के कारण यातायात सुबह 6 बजे बहाल हो सका था। 

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