कोरोना लॉकडाउन ने खोली थी फर्जी अनाम‍िका की पोल, पुल‍िस ने एक साल बाद लखनऊ से दबोचा

आरोपित का असली नाम मंजेश कुमारी उर्फ अंजली है जोकि कन्नौज जनपद के रामपुर बेहटा थाना सौरिख की रहने वाली है। वह पिछले करीब छह महीनों से लखनऊ के ठाकुरगंज में निजी अस्पताल में नर्स की नौकरी कर रही थी।

By Anurag GuptaEdited By: Publish:Mon, 21 Jun 2021 03:54 PM (IST) Updated:Tue, 22 Jun 2021 07:46 AM (IST)
कोरोना लॉकडाउन ने खोली थी फर्जी अनाम‍िका की पोल, पुल‍िस ने एक साल बाद लखनऊ से दबोचा
ठाकुरगंज के निजी अस्पताल में अपने प्रमाणपत्र लगाकर नर्स की नौकरी कर रही थी आरोपित महिला।

रायबरेली, जेएनएन। अनामिका शुक्ला के शैक्षणिक प्रमाण पत्रों पर कस्तूरबा गांधी आवासी बालिका विद्यालय बछरावां में नौकरी करने वाली युवती को पुलिस ने लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया है। उसके ऊपर रायबरेली पुलिस ने 15 हजार का इनाम घोषित किया था। मालूम हो कि इसी तरह गोंडा व अंबेडकरनगर में भी अनामिका के नाम से शिक्षक की नौकरी का मामला पकड़ में आया थाा। संबंधित जिलों में भी कार्रवाई की गई है। असली अनामिका गोंडा जिले की रहने वाली है, जिसने वहां भी रिपोर्ट दर्ज कराई है।

ऐसे खुला मामला 

आरोपित का असली नाम मंजेश कुमारी उर्फ अंजली है, जोकि कन्नौज जनपद के रामपुर बेहटा थाना सौरिख की रहने वाली है। वह पिछले करीब छह महीनों से लखनऊ के ठाकुरगंज में निजी अस्पताल में नर्स की नौकरी कर रही थी। इस बार उसने अपने शैक्षणिक प्रमाण पत्र लगाए थे। पुलिस ने उसे हॉस्पिटल से गिरफ्तार कर लिया। आठ मार्च 2019 को मंजेश ने खुद को अनामिका शुक्ला बताकर बछरावां के विद्यालय में फुल टाइम टीचर की नौकरी हासिल कर ली थी। सात मार्च 2020 को वह होली की छुट्टी पर चली गई। 14 मार्च को उसे आना था, लेकिन उसने फिर छुट्टी ले ली। 

इसी बीच कोरोना की पहली लहर आ गई और लाॅकडाउन लगा दिया गया। इसी बीच मानव संपदा पोर्टल पर कर्मचारियों व अधिकारियों को डेटा फीड किया जाने लगा, जिसमें मंजेश का फर्जीवाड़ा पकड़ा गया। बाद में दीक्षा एप पर जब विद्यालयवार डेटा फीडिंग कराई गई तो पूरा मामला सामने आ गया। बीएसए के निर्देश पर 20 जून 2020 को फर्जी अनामिका शुक्ला के खिलाफ बछरावां थाने में केस दर्ज कराया गया। तब से उसकी तलाश की जा रही थी और उस पर इनाम भी घोषित कर दिया गया था। 

बैंक अकाउंट से लिंक नहीं था आधार

मंजेश ने अनामिका शुक्ला के नाम से सेंट्रल बैंक आफ इंडिया रायबरेली में खाता खुलवाया था। खाते के साथ आधार कार्ड लिंक नहीं था। इसी वजह से उसे हर बार रायबरेली आकर सैलरी निकालनी पड़ती थी। विभाग के आंकिक ने उससे कई बार आधार कार्ड लिंक कराने को कहा, लेकिन उसने ऐसा नहीं किया। उसका फर्जीवाड़ा एक साल तक पकड़ में नहीं आया और वह तनख्वाह लेती रही। अनामिका प्रकरण में आरोपित मंजेश कुमारी को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस टीम अभी उससे पूछताछ कर रही है।

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