लखनऊ में किसानों के लिए बने सामुदायिक केंद्र को दबंगों ने किया था ध्‍वस्‍त, शुभ कार्य के लिए अब लाखों करने होंगे खर्च

लखनऊ के रत्न खंड के तोंदे खेड़ा स्थित लखनऊ विकास प्राधिकरण (लविप्रा) द्वारा बनवाए गए सामुदायिक केंद्र को दबंगों ने चंद सप्ताह पूर्व गिरा दिया था। इस सामुदायिक केंद्र के गिरने से उन किसानों के सामने समस्या खड़ी हो गई है।

By Rafiya NazEdited By: Publish:Mon, 18 Oct 2021 02:09 PM (IST) Updated:Mon, 18 Oct 2021 02:09 PM (IST)
लखनऊ में किसानों के लिए बने सामुदायिक केंद्र को दबंगों ने किया था ध्‍वस्‍त, शुभ कार्य के लिए अब लाखों करने होंगे खर्च
एलडीए के सामुदायिक केंद्र के ध्‍वस्‍त होने से किसान परेशान।

लखनऊ, जागरण संवाददाता। रत्न खंड के तोंदे खेड़ा स्थित लखनऊ विकास प्राधिकरण (लविप्रा) द्वारा बनवाए गए सामुदायिक केंद्र को दबंगों ने चंद सप्ताह पूर्व गिरा दिया था। इस सामुदायिक केंद्र के गिरने से उन किसानों के सामने समस्या खड़ी हो गई है, जिनके घरों के शुभ कार्य इसी सामुदायिक केंद्र से होने थे। यह सामुदायिक केंद्र किसानों के लिए मुफ्त में बुक होता था। कुछ दिन पहले कई लोगों ने मिलकर इसको धराशायी कर दिया था, जेसीबी से इसकी छत भी गिरा दी गई थी। तोंदेखेड़ा के सैकड़ों किसानों के सामने यह संकट खड़ा हो गया है कि आखिर वह अपने बच्चों के शुभ कार्य कहा करेंगे। आसपास स्थिति निजी गेस्ट हाउस का किराया लाखों में है। गिराए गए सामुदायिक केंद्र में साफ-सफाई कराने के बाद किसान अपने बजट में मांगलिक कार्य आसानी से करा लेते थे। वर्ष 2019 में यहां कई शादियां भी हुई थी। वर्ष 2021 में नवंबर से 13 दिसंबर के बीच भी कई मांगलिक कार्य होने थे।

किसान नेता अमर सिंह लोधी ने कहा कि लखनऊ विकास प्राधिकरण को इस सामुदायिक केंद्र को फिर से दुरुस्त करवाकर किसानों को देना चाहिए। इसे किसी भी कीमत पर नीलाम नहीं करना चाहिए। क्योंकि सामदुायिक केंद्र जैसे जानकीपुरम में किसानों के लिए बना है, वैसे यहां भी होना चाहिए। इससे किसानों और उनके बच्चों को छोटे मोटे कार्यक्रम के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। वहीं सचिव लविप्रा पवन कुमार गंगवार ने बताया कि नीलामी में फिलहाल इसे नहीं लगाया गया है। क्योंकि यह गिरा दिया गया था। वहीं भविष्य को लेकर अभी कोई निर्णय न होने की बात लविप्रा अफसरों ने कही है।

सामुदायिक केंद्र में कमरे व हाल के साथ छोटा सा था लॉन: लविप्रा ने पांच हजार वर्ग फीट में बने सामुदायिक केंद्र बनाने के साथ ही कुछ कमरे, शौचालय, हाल बनवाया था। इसके साथ ही सामुदायिक केंद्र में प्रवेश करते ही एक कुछ हजार वर्ग फीट का लॉन था। यहां पंडाल लग जाया करता था। अब यहां सामुदायिक केंद्र गिराए जाने के बाद मलबा पड़ा है।

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