Positive India: परदेसी भइया...रुकी जाओ वहीं जहां देस...मालिनी अवस्थी की सुरीली अपील
Positive Indiaलॉकडाउन तोड़कर अपने घर जाने की जिद कर रहे लोगों से सुरीली अपील। कोरोना जागरूकता के लिए बना चुकी हैं दो गाने पीएम सहायता कोष में दिए एक लाख रुपये।
लखनऊ[दुर्गा शर्मा]। Positive India: लॉकडाउन के दौरान घर जाने की जिद्दोजहद में लगे लोगों की भीड़ भरी तस्वीरों ने सभी को विचलित किया। हर किसी को डर लगा कि कहीं ये हुजूम कोरोना के खिलाफ जंग में हमें कमजोर न कर दे। रोटी कमाने की मजबूरी ने इन्हें घर से दूर किया। अब अदृश्य दुश्मन और जिंदगी की जंग के बीच ये किसी भी तरह अपनों के पास पहुंचना चाहते हैं, बिना इसका ख्याल किए कि उनका ये सफर कितना खौफनाक हो सकता है। ऐसे में जब सरकार-प्रशासन हर कोई भीड़ को समझाने में लगा है, तो शहर की लोक गायिका पद्म श्री मालिनी अवस्थी ने भी सुरीली अपील की है। वो अपने सभी मजदूर और मजबूर भाइयों से कह रही हैं...
जान पे जोखिम डाल के
चले कौन से देश हो
परदेसी भइया मेरे परदेसी भैया
तेरा गांव है बड़ी दूर
तुझे जाना है बड़ी दूर
क्यों छोड़ा ठौर ठिकाना
हुए काहे को मजबूर
विपदा से खुद को बचाए के
रुकी जाओ वहीं जहां देस
हिम्मत से काम लेना
डरना मत, मत घबराना
जल्दी ही दु:ख टरेंगे
जल्दी ही दिन बहुरेंगे
तुम से ही है देश की खुशहाली
आएगी नई लाली...
इससे पहले भी वो कोरोना वायरस से लोगों को जागरूक करने और उनका डर कम करने के लिए एक गाना बना चुकी हैं। इसका वीडियो इन्होंने ट्विटर पर शेयर किया था, जिसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी रि-ट्वीट कर चुके हैं। इन्होंने एक अलग ही अंदाज में गीत गाकर लोगों से कोरोना को मिलकर हराने की अपील की थी...
हवाओं पर बैठा हो पहरा
असर देखो कितना है गहरा
पूछे है हर कोई, देखा
खतरा बड़ा है, इसको पहचानों
डरना न हीं, मुस्कुराना है
मिलकर इसे अब हराना है
आखिर क्या है तू निगोड़ा
अरे अाया तू क्यूं रे कोरोना...
दिखता है देखो जिधर
घर हो या हो दफ्तर
बातों में आने लगा अब तो
खुलकर डराने लगा अब तो
डरना नहीं, मुस्कुराना है
मिलकर इसे अब हराना है...
पीएम सहायता कोष में दिए एक लाख रुपये
मालिनी अवस्थी ने पीएम सहायता कोष में एक लाख भी रुपये दिए। उन्होंने कहा कि जो कुछ हमारे पास है, वो देश है, देशवासियों का है। हमें सब कुछ तो इनसे ही मिला, अब हमारी बारी है। हर किसी को बढ़-चढ़कर सहयोग करना चाहिए। इस समय सबसे जरूरी यही है कि हम सरकार और प्रशासन के हर निर्देश को मानें। जो जहां है, वहीं रहे। कोई अकेला नहीं है, हर जरूरतमंद तक सहायता पहुंच रही है।