उपवन एक, सरोकार अनेक : लखनऊ का कान्हा उपवन बना गोवंश संरक्षण की मिसाल
Kanha upvan जल के साथ पर्यावरण संरक्षण की मुहिम ला रही रंग यहां के सौ परिवारों के बच्चों को निश्शुल्क शिक्षा की योजना।
लखनऊ, (अजय श्रीवास्तव)। जो समाज अपने सरोकारों को लेकर कटिबद्ध होता है, वो उतना ही समृद्ध होता है। सनातन व्यवस्था सिखाती है कि हमें अपने आसपास की हर चीज से सरोकार रखना है और संरक्षण करना है। पेड़-पौधे, जल और जीव सब हमारे संरक्षण के अधिकारी हैं और यह हमारा कर्तव्य भी है। पेड़-पौधे होंगे तो हमें आक्सीजन मिलेगी। धरती की गगरी भरेगी तो हमारा गिलास लबालब होगा, गोवंश फलेगा तो दूध की नदियां बहेंगी। किसी एक जगह तमाम सरोकारों का नजारा शायद ही आपको देखने को मिल सके। हम आपको ले चलते हैं सरोजनीनगर स्थित नगर निगम के कान्हा उपवन में। कहने को तो यह गोवंश और बेसहारा पशुओं को रखने के लिए बनाया गया था, लेकिन समय के साथ यह तमाम सरोकारों का उपवन बन गया है।
यहां गोबर से गैस बनाने के साथ ही उसका लट्ठ तैयार किया जा रहा है। इसका उपयोग चिता जलाने में होने से लकड़ी की चालीस प्रतिशत खपत कम हो गई है। उपवन में रह रहे सुदामा जैसे बच्चों के कंधों पर बस्ता दिखाई देगा। इस उपवन की नींव तत्कालीन महापौर (अब उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा) ने वर्ष 2007 में रखी थी। तब करीब तीन सौ पशुओं की क्षमता का यह उपवन आज दस हजार पशुओं का सहारा बन गया है। शहर में उत्पात मचाने वाले सात हजार सांड़ यहां रह रहे हैं। इसमें साहीवाल और गिर नस्ल के भी सांड़ हैं, जो आने वाले समय में नस्ल को बढ़ाने का काम करेंगे। करीब तीन हजार गाय और पांच सौ बछिया भी इस उपवन की शान हैं।
कान्हा उपवन में पर्यावरण संरक्षण का डंका बज रहा है। अधिक पेड़ों से घिरे इस उपवन में अब जापान की मियावाकी पद्धति से सघन वन क्षेत्र तैयार हो रहा है। उपवन में गंदगी से पटे तालाब को साफ कर यहां जलसंरक्षण का इंतजाम किया जा रहा है। करीब एक एकड़ में मिट्टी से पटे तालाब की खोदाई की जा रही है। सुशिक्षित समाज की दिशा में भी यहां काम हो रहा है। यहां काम करने वाले करीब सौ परिवार के बच्चे शिक्षा से वंचित थे। अब यहां स्कूल खोला गया है, जहां बच्चों को निश्शुल्क शिक्षा दी जाएगी। नगर निगम के संयुक्त निदेशक पशु कल्याण डॉ. अरविंद राव कहते हैं कि शहर से बेसहारा पशुओं को यहां लाया जाता है। अब अच्छी नस्ल के गोवंश के लिए दो सौ बछिया को तैयार कर कृत्रिम गर्भाधान कराया जाएगा।
कान्हा उपवन एक नजर में
'कान्हा उपवन में गोवंश के साथ ही अन्य बेसहारा पशुओं को भी रखा जा रहा है। गोवंश संरक्षण और संवद्र्धन के साथ ही पर्यावरण और जल संरक्षण के लिए भी हम काम कर रहे हैं। आने वाले समय में कान्हा उपवन देश में एक मिसाल साबित होगा।' - डॉ. इंद्रमणि त्रिपाठी, नगर आयुक्त