यूपी में महिला कर्मियों के ल‍िए राहत भरी खबर, स्वास्थ्य मंत्री ने कहा-दूर जिलों में स्थानांतरित तबादले होंगे निरस्त

स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि स्थानांतरण प्रक्रिया पर गलत सवाल उठाए जा रहे हैं। 10 साल से एक ही जिले में जमे बाबुओं के तबादले किए जाने का मानक तय कर स्थानांतरण किया गया। कई जिलों में तो 30 साल से लिपिक जमे हुए थे।

By Anurag GuptaEdited By: Publish:Sat, 24 Jul 2021 07:01 AM (IST) Updated:Sat, 24 Jul 2021 12:46 PM (IST)
यूपी में महिला कर्मियों के ल‍िए राहत भरी खबर, स्वास्थ्य मंत्री ने कहा-दूर जिलों में स्थानांतरित तबादले होंगे निरस्त
बोले पूरी पारदर्शिता के साथ किया गया स्थानांतरण। 10 साल से जमे बाबुओं को हटाया तो हो रहा विरोध।

लखनऊ, राज्य ब्यूरो। स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सि‍ंह ने शुक्रवार को स्वास्थ्य विभाग में लिपिकों के किए गए तबादले को लेकर किए जा रहे विरोध पर विभाग का मजबूती से पक्ष रखा। उन्होंने कहा कि साफ्टवेयर के माध्यम से पूरी पारदर्शिता के साथ स्थानांतरण नीति का पालन करते हुए स्थानांतरण किए गए हैं। कई वर्षों से स्वास्थ्य विभाग में लिपिकों के तबादले नहीं हुए थे इसलिए तीन हजार में से करीब पंद्रह सौ कर्मचारियों का स्थानांतरण किया गया। सूची में कुछ महिलाओं का दूर-दराज जिलों में और कुछ महीने बाद सेवानिवृत्त होने वाले कर्मचारियों का तबादला किए जाने के मामले सामने आए हैं। इन पर पूरी गंभीरता के साथ विचार किया जा रहा है और इसे निरस्त किया जाएगा।

स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि स्थानांतरण प्रक्रिया पर गलत सवाल उठाए जा रहे हैं। 10 साल से एक ही जिले में जमे बाबुओं के तबादले किए जाने का मानक तय कर स्थानांतरण किया गया। कई जिलों में तो 30 साल से लिपिक जमे हुए थे। फिलहाल गलत विरोध किया जा रहा है। स्वास्थ्य कर्मी कार्य बहिष्कार खत्म कर वापस काम पर लौटें। उधर यूपी मेडिकल एंड पब्लिक हेल्थ मिनीस्टिरियल एसोसिएशन के अध्यक्ष प्रेम कुमार सिंह का कहना है कि जब तक तबादला सूची रद नहीं होती तब तक कार्य बहिष्कार जारी रहेगा। सोमवार को स्वास्थ्य महानिदेशालय का घेराव किया जाएगा।

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