'खून का बदला खून' मांग रही Social मीडिया, DM की पैनी नजर

जवानों पर हमले का विरोध, सोशल मीडिया पर गम और गुस्सा। जिलाधिकारी ने सभी प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों को सोशल मीडिया पर भी निगाह रखने को कहा है।

By Anurag GuptaEdited By: Publish:Sat, 16 Feb 2019 09:23 PM (IST) Updated:Mon, 18 Feb 2019 09:34 AM (IST)
'खून का बदला खून' मांग रही Social मीडिया, DM की पैनी नजर
'खून का बदला खून' मांग रही Social मीडिया, DM की पैनी नजर

लखनऊ, जेएनएन। जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आत्मघाती हमले से राजधानी के हर तरफ गम का माहौल है। सड़क से लेकर हर गली, मोहल्ले, चौराहे पर लोग शहीदों की शहादत पर दुख जता रहे हैं। सोशल मीडिया भी खामोश नहीं है और खून का बदला खून मांग रही है। हर कोई गम और गुस्से से भरा हुआ है। लोगों में आक्रोश है और पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब देने की मांग कर रही है।

इसके चलते सोशल मीडिया पर संदेशों की बाढ़ आ गयी है। उधर, एक युवक को पुलिस ने राष्ट्र विरोधी संदेश वायरल करने पर गिरफ्तार भी किया है। सोशल मीडिया से कानून-व्यवस्था पर संकट नहीं हो इसके लिए प्रशासन ने विशेष दिशा-निर्देश जारी किए हैं। जिलाधिकारी ने सभी प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों को सोशल मीडिया पर भी निगाह रखने को कहा है। 

 

सोशल मीडिया में ऐसे किए गए पोस्ट ...

सोशल मीडिया पर आतंकी हमले के बाद से शहीदों की शहादत का बदला लेने के अलावा किसी अन्य मुद्दे पर कोई भी पोस्ट न के बराबर है। फेसबुक पर अजीत तिवारी लिखते हैं 'मोदी जी कर दो एलान, व्यर्थ न जाए ये बलिदान'। वहीं, सूरज शाही ने लिखा है कि 'रंगबाजी इस आतंक की बेरंग होनी चाहिए, हो गया आगाज बस अब जंग होनी चाहिए, छिन गए हैं लाल कितने भारत की गोद से, कोख पाकिस्तान की भी तंग होनी चाहिए'। वहीं, नवनीत त्रिपाठी ने लिखा है कि 'कड़ी निंदा नहीं चाहिए, एक भी आतंकी जिंदा नहीं चाहिए'। ट्विटर पर पवन अरोरा ने 'वी वांट ब्लड फॉर ब्लड' और पारस राम परिहार ने 'लहू देकर तिरंगे की, बुलंदी को संवारा है, फरिश्ते तुम वतन के हो, तुम्हें सजदा हमारा है' लिखकर अपनी संवेदना व्यक्त की है। निधि ने 'वार इस नेवर ऐन ऑप्शन' लिखकर अपने विचार रखे हैं। 

 सोशल मीडिया पर प्रशासन की नजर : डीएम
सोशल मीडिया से कानून-व्यवस्था पर संकट नहीं हो इसके लिए प्रशासन ने विशेष दिशा-निर्देश जारी किए हैं।जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने सभी प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों को सोशल मीडिया पर भी निगाह रखने को कहा गया है। सोशल मीडिया पर डाली जा रही सामग्री से कानून-व्यवस्था पर संकट की स्थिति पैदा नहीं हो। इसके लिए अधिकारी लगातार सक्रिय रहें। अगर कोई राष्ट्र विरोधी गतिविधियों के लिए उकसा रहा है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई करें। अभियोजन विभाग से भी इस बारे में राय मांगी गयी है कि सोशल मीडिया पर देश में नफरत फैलाने वालों के खिलाफ कितना सख्त एक्शन लिया जा सकता है।  

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