Protest Against Privatization: बिजली कर्मी व अभियंताओं ने निजीकरण के विरोध में निकाला मशाल जुलूस, दी गिरफ्तारी

Protest Against Privatisation पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के निजीकरण के विरोध में उतरे बिजली कर्मी व अभियंता। मशाल जुलूस निकालकर विरोध जताया। समिति के संरक्षक शैलेंद्र दुबे ने अभियंताओं के साथ शक्ति भवन के समक्ष गिरफ्तारी दी। यहां से पदाधिकारियों को ईको गार्डन ले जाया गया।

By Divyansh RastogiEdited By: Publish:Mon, 28 Sep 2020 07:30 PM (IST) Updated:Mon, 28 Sep 2020 07:30 PM (IST)
Protest Against Privatization: बिजली कर्मी व अभियंताओं ने निजीकरण के विरोध में निकाला मशाल जुलूस, दी गिरफ्तारी
Protest Against Privatisation:लखनऊ में सोमवार को पहले अभियंताओं ने गोखले मार्ग स्थित मध्यांचल मुख्यालय पर प्रदर्शन किया।

लखनऊ, जेएनएन। Protest Against Privatisation: पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के निजीकरण के विरोध में विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के बैनर तले विरोध प्रदर्शन किया गया। राजधानी लखनऊ में सोमवार को पहले अभियंताओं ने गोखले मार्ग स्थित मध्यांचल मुख्यालय पर प्रदर्शन किया और फिर फील्ड हॉस्टल पर विरोध सभा आयोजित की। इसके बाद सैकड़ों की संख्या में बिजली कर्मी व अभियंताओं ने मशाल जुलूस निकालकर विरोध जताया। समिति के संरक्षक शैलेंद्र दुबे ने अभियंताओं के साथ शक्ति भवन के समक्ष गिरफ्तारी दी। यहां से पदाधिकारियों को ईको गार्डन ले जाया गया। 

 

विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के बैनर तले पिछले कई दिनों से गोखले मार्ग स्थित मध्यांचल मुख्यालय के समक्ष विरोध प्रदर्शन चल रहा था। अभियंताओं ने निजीकरण के विरोध में सांसद, मंत्री और विधायकों को ज्ञापन देकर निजीकरण का विरोध जताया। यह प्रदर्शन 21 सितंबर से चल रहा था।

पदाधिकारियों ने सीएम से संबोधित ज्ञापन भी माननीयों को देकर आवाज उठाई थी कि निजीकरण का रास्ता बिजली विभाग को बर्बाद कर देगा। हालांकि अभी तक कोई सुनवाई न होने के कारण अभियंताओं ने फील्ड हॉस्टल से शक्ति भवन होते हुए हजरतगंज स्थित गांधी प्रतिमा जीपीओ पर समाप्त किया। यहां पहले से मौजूद पुलिस बल से अभियंताओं की झड़प भी हुई और सैकड़ों अभियंताओं ने गिरफ्तारियां भी दी।

गोंडा में भी अभियंताओं का विरोध 

गोंडा में भी पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के निजीकरण के विरोध में बिजली अभियंता व कर्मचारियों ने मशाल जुलूस निकाला। नारेबाजी करते हुए निर्णय वापस लेने की मांग की। मांगे न पूरी होने पर कार्य बहिष्कार की चेतावनी दी। सांसद व विधायकों को मांग पत्र भेजा है।

राज्य विद्युत परिषद जूनियर इंजीनियर्स संगठन के क्षेत्रीय सचिव रामा जी ने कहा कि सरकार पॉवर कारपोरेशन के एक भाग को निजी हाथों में देना चाहती है। यह उचित नहीं है। संसाधनों के अभाव के बीच भी अभियंता कार्य कर रहे हैं। उनकी मेहनत का आकलन नहीं किया जा रहा है। निजी कंपनी सेवा नहीं दे पाएगी। उन्होंने कहा कि दस दिनों से ध्यानाकर्षण प्रदर्शन किया जा रहा है। 29 सितंबर को दोपहर दो से शाम पांच बजे तक विरोध सभा करेंगे। पांच अक्टूबर को वीडियो कान्फ्रेंसिंग का बहिष्कार किया जाएगा। निजीकरण के निर्णय को वापस नहीं लिया गया तो कार्य बहिष्कार करके आंदोलन का रास्ता चुनेंगे। पवन कुमार, अश्वनी कुशवाहा, राघवेंद्र साहू, विपिन सिंह, प्रवीण सिंह, पीके वर्मा, वीडी यादव, परमानंद पांडेय मौजूद रहे।

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