लखनऊ में फेसबुक और वाट्सएप पर मैसेज कर फंसाते हैं साइबर जालसाज, जानें इनसे बचने के तरीके

कोई वाट्सएप काॅल मैसेज अथवा फेसबुक मैसेंजर पर मैसेज करे और इलाज अथवा अन्य परेशानी बताकर आपसे रुपयों की मांग करे तो उसके झांसे में न आएं। उसे टाल दें अथवा फोन कटने के बाद उस रिश्तेदार या दोस्त के व्यक्तिगत नंबर पर थोड़ी देर बाद फोन करके पूछ लें।

By Mahendra PandeyEdited By: Publish:Wed, 23 Jun 2021 04:19 PM (IST) Updated:Wed, 23 Jun 2021 04:19 PM (IST)
लखनऊ में फेसबुक और वाट्सएप पर मैसेज कर फंसाते हैं साइबर जालसाज, जानें इनसे बचने के तरीके
साइबर जालसाजों के बचने के लिए रहें सतर्क

लखनऊ, जेएनएन। अगर कोई आपको रिश्तेदार अथवा दोस्त होने का हवाला देकर वाट्सएप काॅल, मैसेज अथवा फेसबुक मैसेंजर पर मैसेज करे और इलाज अथवा कोई अन्य परेशानी बताकर आपसे रुपयों की मांग करे तो उसके झांसे में न आएं। उसे टाल दें अथवा फोन कटने के बाद अपने उस रिश्तेदार या दोस्त के व्यक्तिगत नंबर पर थोड़ी देर बाद फोन करके पूछ लें, कि क्या आपको रुपयों की जरूरत है, तभी उसके खाते में रुपये ट्रांसफर करें। क्योंकि इन दिनों बड़ी संख्या में साइबर जालसाज खुद को रिश्तेदार अथवा आपका दोस्त बताकर रुपयों की मांग कर रहे हैं। साइबर क्राइम सेल ने इसके लिए अलर्ट भी जारी किया है।

केस एक : अंसल एपीआइ निवासी प्रमोद सिंह को जालसाज ने मैसेज किया और उनसे अपने खाते में 15 हजार रुपये ट्रांसफर करा लिए। जालसाज ने उनसे बताया कि वह देहरादून निवासी उनके दोस्त दिनेश हैं। वाट्सएप पर दिनेश की फोटो भी लगी थी। इसलिए उन्हें पहचानने में दिक्कत भी नहीं हुई। दिनेश बने जालसाज ने कहा कि उनके बेटे की तबीयत खराब है तत्काल 50 हजार रुपये की जरूरत है मदद कर दें। फिर वापस कर दूंगा। प्रमोद के पास इतने रुपये नहीं थे उन्होंने मदद के लिए तत्काल उसके बताए गए खाते में 15 हजार रुपये डाल दिए। करीब एक घंटे बाद दिनेश के नंबर पर प्रमोद ने फोन किया कि रुपये मिल गए और चाहिए हो तो कल तक दे पाउंगा, लेकिन दिनेश के कहा कि उन्होंने तो कोई रुपये ही नहीं मांगे। जालसाजी का एहसास होने पर प्रमोद ने सुशांत गोल्फ सिटी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई।

केस दो : हुसैनगंज निवासी अनुष्का मिश्रा को जालसाज ने रिश्तेदार बनकर फोन किया। उसने अपनी मां के इलाज के नाम पर रुपयों की मांग की। अनुष्का ने उसके बताए गए खाते में 20 हजार रुपये ट्रांसफर कर दिए। जब अनुष्का ने कुछ देर बाद रिश्तेदार के नंबर पर फोन कर पूछा तो उसने भी कहा कि मैंने रुपये नहीं मांगे।

इन बातों का रखें ध्यान

पुलिस ट्रेनिंग अकादमी के साइबर एक्सपर्ट मनीष गोयल बताते हैं कि साइबर जालसाज नए-नए हथकंडे अपना रहे हैं। इस लिए जब आप उनसे अधिक सावधान रहेंगे तभी ठगी से बच सकते हैं।  अपनी फेसबुक प्रोफाइल अवश्य लाक कर दें।  फेसबुक के जिन मित्रों से आप व्यक्तिगत रूप से न जानते हों उन्हें अनफ्रेंड कर दें। क्योंकि उनसे डेटा चोरी होने का खतरा है। अपना मोबाइल लाक करके रखें। यदि कोई रिश्तेदार अथवा दोस्त बताकर फोन करे और रुपयों की मदद मांगे तो उस व्यक्ति का जो नंबर आपके पास पहले से फीड हो उस पर फोन करके जानकारी कर लें।

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