Bank Strike: निजीकरण के विरोध में सुलतानपुर के 79 ग्रामीण बैंकों में कारोबार ठप, कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन
सुलतानपुर में निजीकरण के विरोध में आल इंडिया रीजनल रूरल बैंक एंप्लाइज एसोसिएशन (अरेबिया) के बैनर तले 79 ग्रामीण बैंक शाखाओं के कर्मचारियों व अधिकारियों ने सोमवार को हड़ताल किया। उनके कार्य न करने से कारोबार ठप हो गया।
सुलतानपुर, संवादसूत्र। निजीकरण के विरोध में आल इंडिया रीजनल रूरल बैंक एंप्लाइज एसोसिएशन (अरेबिया) के बैनर तले 79 ग्रामीण बैंक शाखाओं के कर्मचारियों व अधिकारियों ने सोमवार को हड़ताल किया। उनके कार्य न करने से कारोबार ठप हो गया। लोगों ने बैंक शाखाओं के समक्ष प्रदर्शन किया। इसके बाद बैकिंग सचिव को ज्ञापन सौंपा। जिला मुख्यालय पर स्थित बैक के क्षेत्रीय कार्यालय के सामने एकत्र कर्मियों ने धरना-प्रदर्शन किया। इसमें बड़ौदी यूपी बैंक एंप्लाइज यूनियन आफिसर्स एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने अपने विचार रखे। आफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष अनुपम गोस्वामी ने कहा कि सरकार अपनी पूंजी प्रायोजक बैंकों को ट्रांसफर करने का षडयंत्र कर रही है। देश भर की सभी 43 ग्रामीण बैंकों को मिलाकर राष्ट्रीय ग्रामीण बैंक की स्थापना किए जाने की मांग कार्मिकों की ओर से की गई। प्रायोजक बैंकों का नियंत्रण समाप्त करने को लेकर सरकार से सकारात्मक रुख अपनाने का आग्रह किया गया। वक्ताओं ने कहा कि यदि बैंकों का निजीकरण हुआ तो देश में साहूकारी व महाजनी प्रथा लौटेगी। कर्मचारी यूनियन के आनंद तिवारी ने सरकार पर ग्रामीण बैंक कर्मियों के प्रति सौतेला व्यवहार करने का आरोप लगाया। कहा कि उन्हें भत्ते व सुविधाएं प्रायोजक बैंकों की तरह नहीं दी जा रही है। दैनिक वेतन भोगियों का उत्पीड़न किया जा रहा है। सफाई कर्मचारी सहित अन्य को नवें वेतन समझौते के अनुसार मजदूरी नहीं दी जा रही है, न ही उनका विनियमितीकरण हो रहा है। क्षेत्रीय महासचिव सुरेंद्र पांडेय ने कहा कि पीएफ कटौती मामले में उच्चतम न्यायालय के निर्देश की अवमानना बैंक प्रबंधन कर रहा है। आफिसर्स एसोसिएशन के क्षेत्रीय अध्यक्ष आशुताेष मौर्य ने पेंशन व्यवस्था को लेकर विचार रखा। अरेबिया सचिव के मुताबिक जिले भर में दो करोड़ ग्राहकों की संख्या है। 850 करोड़ की धनराशि बतौर कर्ज ग्रामीणों को दी गई है। बैंक के पास उपभेाक्ताओं की जमा धनराशि 3500 करेाड़ के आसपास है।