कुशीनगर में बच्चों में तेजी से बढ़ रहा वायरल फीवर, 55 भर्ती

कुशीनगर के जिला संयुक्त चिकित्सालय के एल-टू में बनाया गया बचों के लिए अलग वार्ड निमोनिया से प्रभावित बचों के इलाज का पर्याप्त इंतजाम न होने से स्वजन को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 29 Sep 2021 12:26 AM (IST) Updated:Wed, 29 Sep 2021 12:26 AM (IST)
कुशीनगर में बच्चों में तेजी से बढ़ रहा वायरल फीवर, 55 भर्ती
कुशीनगर में बच्चों में तेजी से बढ़ रहा वायरल फीवर, 55 भर्ती

कुशीनगर : कोरोना संक्रमण से बच्चों को बचाने के लिए सरकार जहां ढेरों इंतजाम कर रही है वहीं बच्चों में इन दिनों वायरल फीवर का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। मौसम के बदलते मिजाज की वजह से बड़ों के बाद अब बच्चे भी बुखार की चपेट में आ रहे हैं। बच्चों की बढ़ती संख्या को देखते हुए जिला संयुक्त चिकित्सालय के एल-टू में 40 बेड का अलग से वार्ड का बनाया गया है।

हालत यह है कि वार्ड में क्षमता से अधिक बच्चे भर्ती किए गए हैं। 40 बेड पर 55 बच्चों को रखा गया है। इन बच्चों की उम्र आठ माह से छह साल के बीच है। इनमें सर्वाधिक वायरल फीवर, उल्टी-दस्त, निमोनिया, कमजोरी से पीड़ित बच्चे शामिल हैं। बच्चों के स्वजन का कहना है कि सुविधा के नाम पर कुछ नहीं मिल रहा है। वार्ड में जगह-जगह फैली गंदगी के बीच मरीज व तीमारदारों का रहना मजबूरी बनी हुई है।

मंगलवार को दोपहर 12 बजे तीन बच्चे भर्ती किए गए। जिनका इलाज चल रहा है। तीमारदारों में तिनफेड़िया के सुबाष व बिहार तमकुहवां नगीना, रमेश तथा घनश्याम ने कहा कि दवाएं तो मिल रहीं हैं, लेकिन डाक्टर देखने नहीं आ रहे हैं।

ओपीडी में भी बढ़ी भीड़

जिला संयुक्त चिकित्सालय में वायरल फीवर के रोगियों की संख्या तेजी से बढ़ी है। ओपीडी में प्रतिदिन 800 से 900 मरीज इलाज कराने आते हैं, जिसमें दो सौ से तीन सौ के बीच वायरल फीवर के रोगियों की संख्या रह रही है। इसमें 100 से अधिक बच्चे शामिल हैं। अस्पताल में दु‌र्व्यवस्था के कारण मरीज भटक रहें हैं। कभी डाक्टर गायब तो कभी पर्ची काउंटर भी समय से पूर्व बंद हो जा रहा है। ओपीडी में डा.एमएच खान, डा.अमरेंद्र सिंह अपने चैंबर में मरीजों का इलाज करते मिले। बाकी सभी कक्ष खुले तो दिखे, लेकिन डाक्टर नदारद रहे। सफाईकर्मियों की लापरवाही से परिसर में बराबर गंदगी बनी रहती है।

सीएमएस डा. एसके वर्मा ने कहा कि

जलजनित बीमारियों के मरीजों की संख्या बढ़ी है, जिसमें सर्वाधिक वायरल फीवर के रोगी आ रहे हैं। सभी चिकित्सकों को समय से बैठने के निर्देश दिए गए हैं। वार्ड व परिसर में सफाई के लिए कर्मियों की ड्यूटी लगाई गई है। अगर कहीं गंदगी मिली तो संबंधित कर्मचारी के खिलाफ कार्रवाई होगी। बच्चों के इलाज के लिए सात चिकित्सकों की ड्यूटी लगाई गई है।

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