अब केवल एक व्यक्ति संक्रमण का शिकार

पडरौना जनपद में संक्रमितों की संख्या में लगातार गिरावट राहत देने वाली है। बुधवार को संक्र

By JagranEdited By: Publish:Sat, 19 Jun 2021 12:11 AM (IST) Updated:Sat, 19 Jun 2021 12:11 AM (IST)
अब केवल एक व्यक्ति संक्रमण का शिकार
अब केवल एक व्यक्ति संक्रमण का शिकार

पडरौना: जनपद में संक्रमितों की संख्या में लगातार गिरावट राहत देने वाली है। बुधवार को संक्रमित की एक की संख्या रही गुरुवार को दो पहुंच गई, लेकिन शुक्रवार को फिर घटकर यह एक हो गई है, इससे स्वास्थ्य विभाग राहत में है।

गोरखपुर मेडिकल कालेज से मिली 3883 की जांच रिपोर्ट में 3862 निगेटिव व एक संक्रमित हैं, जो हाटा ब्लाक क्षेत्र का है। एक्टिव केसों की संख्या 31 है तो स्वस्थ हुए आठ लोगों को डिस्चार्ज किया गया है।

सीएमओ डा. एनपी गुप्ता ने बताया कि अब तक कुल 15541 संक्रमितों में से 15287 लोग स्वस्थ हो चुके हैं, जिन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण की संख्या कम हुई है, लेकिन सावधानी बरतनी जरूरी है।

--- यह बरतें सावधानी

-कोरोना प्रोटोकाल का पालन करें

-दो गज की दूरी बनाए रखें

-मास्क का प्रयोग करते रहें

-भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर जाने से बचें

-साबुन से हाथ धोते रहें

-सैनिटाइजर का प्रयोग जरूर करें

-कोरोना के लक्षण दिखे तो तत्काल जांच कराएं

-कोविड का टीका जरूर लगवाएं

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महामारी से बचाव के लिए देवी स्थल पर हुई पूजा

कुशीनगर: पीढि़यों से चली आ रही परंपरा एक बार फिर शुक्रवार को क्षेत्र के गांव लक्ष्मीपुर में दिखी। महामारी से बचाव के लिए हर वर्ष ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष को गांव के सभी लोग घर में ताला बंद कर देवी स्थान पर पहुंचते हैं। इसी क्रम में पहुंचे लोगों ने यहां पूजा पाठ और कीर्तन कर देवी से मन्नत मांगी और सूर्यास्त के बाद घर लौटे।

बुजुर्गों के अनुसार पीढ़ी दर पीढ़ी यह परंपरा चली आ रही है। सैकड़ों वर्ष पूर्व महामारी फैली थी और लोग मौत के मुंह में समा रहे थे। अनेक प्रयास के बाद भी सिलसिला रुक नहीं रहा था। बताते हैं कि गांव क एक व्यक्ति दुर्गा स्थल पर पूजा किए। स्वप्न में देवी ने इस तिथि को घर से निकलकर भजन कीर्तन और पूजन वंदन करने को कहा। ग्रामीण ने ऐसा किया तो मौत का सिलसिला रुक गया। तब से यह परंपरा चली आ रही है। सूर्योदय से पूर्व ही लोग घर से निकल जाते हैं। महिलाएं देवी स्थान पर भोजन पकाती हैं तो दिन भर पूजा पाठ चलता है।

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