कुशीनगर में संसाधन तो हैं, संचालक कहां से लाएं

कुशीनगर में वेंटीलेटर व आक्सीजन आपरेट करने के लिए विशेषज्ञों की दरकार 100 बेड के कोविड अस्पताल में तैनात हैं संविदा कर्मी रात में अस्पताल रहता नर्स व वार्ड ब्वाय के हवाले।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 05 May 2021 12:42 AM (IST) Updated:Wed, 05 May 2021 12:42 AM (IST)
कुशीनगर में संसाधन तो हैं, संचालक कहां से लाएं
कुशीनगर में संसाधन तो हैं, संचालक कहां से लाएं

कुशीनगर : जिले में कोरोना संक्रमण तेजी से पांव पसार रहा है। सरकार नियंत्रण करने को लेकर गंभीर है और लगातार मानिटरिग भी हो रही है। अधिकारी नियमित बैठकों के माध्यम से व्यवस्था दुरुस्त करने में जुटे हैं। बावजूद इसके कोई सुधार होता नहीं दिख रहा है। जनपद में कोरोना संक्रमितों के लिए जिला संयुक्त चिकित्सालय के एमसीएच विग में 100 बेड कोविड अस्पताल में गंभीर रोगियों के लिए 25 वेंटीलेटर लगाए गए हैं, लेकिन इन्हें चलाने वाला कोई विशेषज्ञ चिकित्सक नहीं है।

आइसीयू वार्ड में तैनात पांच संविदा कर्मी बारी-बारी से वेंटीलेटर आपरेट कर रहे हैं। जबकि कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए विशेषज्ञ चिकित्सकों के अलावा वेंटीलेटर चलाने वाले कम से कम आठ आपरेटरों की आवश्यकता है। ऐसे में यहां भर्ती कोविड के मरीजों का इलाज सही तरीके से नहीं हो पा रहा है। इस समय यहां लगभग 56 से अधिक गंभीर रोगी भर्ती हैं, जिनके इलाज में परेशानी हो रही है।

रात में कोविड अस्पताल में नहीं मिलते डाक्टर

विभाग का कहना है कि तीन शिफ्ट में 30 कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई गई है, जिसमें चिकित्सक, नर्स, वार्ड ब्वाय, स्वीपर शामिल हैं। नगर के कसेरा टोली मोहल्ले की प्रीति गुप्ता का कहना है कि पिता ओमप्रकाश गुप्ता कोविड अस्पताल में भर्ती थे। रात में आक्सीजन लेवल कम होने लगा तो बुलाने पर डाक्टर व नर्स नहीं आए, उनकी मौत हो गई। बताया कि स्टाफ नर्स व वार्ड ब्वाय ही रहते हैं। जरूरी इंजेक्शन भी रात में लगाने में आनाकानी की जाती है।

डीएम संजय कुमार खत्री ने कहा कि अस्पताल में संसाधन की कमी संबंधी रिपोर्ट यहां कार्यभार ग्रहण करते ही शासन को भेज दिया था। अब तात्कालिक व्यवस्था में वेंटीलेटर चलाने के लिए 18 डाक्टरों को चिह्नित किया गया है, जिन्हें गोरखपुर में तीन दिन की ट्रेनिग कराई जाएगी। इसके बाद छह-छह डाक्टरों की शिफ्टवार कोविड अस्पताल में ड्यूटी लगाई जाएगी। इसके अलावा नान कोविड अस्पताल के लिए दो-दो डाक्टरों की ड्यूटी लगाई गई है।

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