सरकारी वेंटिलेटर निजी अस्पताल को देने पर कौशांबी में जन आंदोलन

कौशांबी जहां वेंटिलेटर और आक्सीजन की कमी से कोरोना संक्रमितों के मौत की खबरें आ रही है

By JagranEdited By: Publish:Sun, 09 May 2021 09:53 PM (IST) Updated:Sun, 09 May 2021 09:53 PM (IST)
सरकारी वेंटिलेटर निजी अस्पताल को देने पर कौशांबी में जन आंदोलन
सरकारी वेंटिलेटर निजी अस्पताल को देने पर कौशांबी में जन आंदोलन

कौशांबी: जहां वेंटिलेटर और आक्सीजन की कमी से कोरोना संक्रमितों के मौत की खबरें आ रही हैं, वहीं कौशांबी जिला अस्पताल से 15 वेंटिलेटर शासन के निर्देश पर प्रयागराज मंगवाकर निजी अस्पताल यूनाइटेड मेडिसिटी को दे दिये जाने से कौशांबीवासी भौचक हैं। सवाल कर रहे हैं कि जहां उनके जिले में लोग परेशान हैं और मुफ्त इलाज पा सकते थे, वहीं अब निजी अस्पताल में मोटी रकम खर्च करनी पड़ रही है। इसके खिलाफ इंटरनेट मीडिया के माध्यम से कौशांबी के लोग प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री व जिलाधिकारी को जानकारी देकर जन आंदोलन चला रहे हैं। रविवार को तख्तियों पर स्लोगन लिखकर वेंटिलेटर वापस दिए जाने की मांग भी की गई।

जिला अस्पताल में नौ वेंटिलेटर रह गए हैं। स्थिति यह है कि चाहे कोरोना संक्रमित मरीज हो या अन्य कोई गंभीर बीमारी का मरीज, अधिकांशतया को जिला अस्पताल से रेफर कर दिया जा रहा है। वेंटिलेटर के मामले में कांग्रेस नेता आशीष कुमार पप्पू मिश्रा व वेद पांडेय का आरोप है कि जिले के हिस्से के 15 वेंटिलेटर अपर निदेशक चिकित्सा एवं स्वास्थ्य परिवार कल्याण प्रयागराज मोहनजी श्रीवास्तव के निर्देश पर 17 अप्रैल को प्रयागराज को दे दिए गए। यह भी आरोप है इन वेंटिलेटरों को यूनाइटेड मेडिसिटी अस्पताल को दे दिया गया, जबकि जिले को इसकी सख्त जरूरत है। जिले में एक अप्रैल से अब तक कोरोना के चलते 28 लोगों की मौत हो चुकी है। निजी अस्पताल समेत घरों में हुई मौतों का आंकड़ा इसमें शामिल नहीं है। मामले को दैनिक जागरण ने प्रकाशित किया तो कांग्रेस के साथ ही आम लोगों ने इसे जन आंदोलन का रूप दे दिया।

जिले में वेंटिलेटर वापस लाने के लिए काला मास्क लगाकर विरोध जताया। उसके बाद इंटरनेट मीडिया पर अभियान शुरू कर दिया। तख्ती हाथ में लेकर फोटो शेयर करने के साथ ट्विटर पर पोस्ट भेजकर सवाल उठा रहे हैं। वह निजी अस्पताल को दिए वेंटिलेटर वापस लाना चाहते हैं।

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मुख्यमंत्री को देंगे जानकारी

'वेंटिलेटर प्रयागराज से वापस लाने के लिए जन आंदोलन छिड़ा है। इसकी जानकारी मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री को देंगे। उनके निर्देश के अनुसार जिला प्रशासन कदम उठाएगा।'

- अमित कुमार, डीएम, कौशांबी

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सीएम के निर्देश पर दी गईं व्यवस्थाएं: सीएमओ

प्रयागराज के सीएमओ डा. प्रभाकर राय ने मामले पर बताया कि यूनाइटेड मेडिसिटी को वीडियो कांफ्रेंसिंग में मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद चिकित्सा संसाधन और डाक्टर मुहैया कराए गए हैं। कौशांबी से लाए गए वेंटिलेटर की सुविधा देने के साथ आठ से 10 डाक्टर भी दिए गए। रेलवे अस्पताल को भी जरूरत पड़ने पर 10 डाक्टरों की टीम मुहैया कराई गई। किसी और अस्पताल को ऐसी सुविधा नहीं दी गई है। वेंटिलेटर और डाक्टर दिए जाने के बाद मुफ्त इलाज की व्यवस्था के सवाल पर बताया कि यूनाइटेड मेडिसिटी में आयुष्मान भारत योजना के कार्ड धारक जो मरीज भर्ती किए जा रहे हैं उनका बिल बाउचर वही मेडिकल कालेज शासन को भेजता है तो भुगतान पास होता है। इस योजना का लाभार्थी मरीज यदि जनरल वार्ड से अतिरिक्त सुविधा चाहता है तो उसे नर्सिगहोम का चार्ज खुद ही देना होगा।

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