अच्छी उपज के लिए जून के अंतिम सप्ताह तक करें धान की रोपाई
मानसून आने के अनुमानित समय से पहले ही बारिश शुरू हो गई है। किसान इन दिनों खरीफ की फसलों की तैयारी में जुट गए हैं। धान व सब्जियों की नर्सरी तैयार करने के साथ खेतों की मिट्टी को फसलों के उपज के लिए तैयार करना शुरू कर दिया है। कृषि विज्ञानी के मुताबिक अच्छी उपज के लिए किसानों को जून के अंतिम सप्ताह तक धान की रोपाई कर लेनी चाहिए।
संसू, कसेंदा : मानसून आने के अनुमानित समय से पहले ही बारिश शुरू हो गई है। किसान इन दिनों खरीफ की फसलों की तैयारी में जुट गए हैं। धान व सब्जियों की नर्सरी तैयार करने के साथ खेतों की मिट्टी को फसलों के उपज के लिए तैयार करना शुरू कर दिया है। कृषि विज्ञानी के मुताबिक अच्छी उपज के लिए किसानों को जून के अंतिम सप्ताह तक धान की रोपाई कर लेनी चाहिए।
बारिश शुरू होने के बाद किसानों ने खरीफ की फसलों की बुआई शुरू कर दी है। खास तौर पर धान की नर्सरी व रोपाई की तैयारी चल रही है। कुछ किसानों ने धान की नर्सरी लगा दी है। कृषि विज्ञानी डा. मनोज सिंह ने बताया कि धान के रोपाई का उचित समय जून माह तक है। चायल तहसील क्षेत्र के किसान शिवा लाल, मेवा लाल, संजय कुशवाहा, शारदा कुशवाहा, रामसुमिरन, राजकुमार कुशवाहा, रंजीत यादव, राजेंद्र सिंह, सुग्गी लाल, अनिल कुमार आदि ने बताया कि इस बार मानसून आने के अनुमानित समय से पहले काफी बारिश हो गई है। जो किसानों के हित में है। इससे जायद की फसलों को फायदा हुआ है। खरीफ की फसलों की बोआई करने के लिए मिट्टी तैयार करने का अधिक समय मिल गया है। इसके लिए जहां धान की नर्सरी तैयार करने में किसान जुटे हैं वहीं रोपाई के लिए खेतों से खरपतवार निकालने और ज्वार, बाजरा, तिल, सकरकंद आदि की बोआई करने की तैयारी में भी किसान लगे हैं। शनिवार को विकास खंड चायल के कसेंदा गांव में किसान गंगादीन, उदय भान, वीरेंद्र ने धान की नर्सरी करने के बाद उसकी सुरक्षा के लिए कटीले तार से बैरीकेडिंग कर दिया है। उनका कहना है कि इस बार समय से बेहन तैयार होगी तो फसल को अधिक समय मिल सकेगा।