इस्टर्न डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर के आसपास होगा लॉजिस्टिक पार्क, औरैया में मिली साढ़े चार सौ एकड़ जगह
डीएफसीसी ने उप्र राज्य औद्योगिक विकास प्राधिकरण से भूखंड की मांग की है जिसपर लॉजिस्टिक पार्क बसाया जाएगा ताकि उद्यमियों को वहां बने वेयर हाउस में अपने माल रखने में आसानी हो और कॉरीडोर के जरिए दूसरे शहर और बंदरगाहों से माल आसानी से लाने और पहुंचाने की सुविधा मिले।
कानपुर, जेएनएन। डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर किनारे औरैया जिले के अछल्दा के पास रूरू खुर्द व ग्वारी गांव की भूमि पर लॉजिस्टिक पार्क की स्थापना की जाएगी। इसके लिए डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर कॉरपोरेशन (डीएफसीसी) ने उप्र राज्य औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीसीडा) से भूखंड मांगा है। प्राधिकरण को वहां पर जिला प्रशासन करीब साढ़े चार सौ एकड़ ग्राम समाज की भूमि उपलब्ध करा है। अब कॉरपोरेशन की मांग के अनुरूप वहां भूमि आवंटित की जाएगी। पार्क की स्थापना में प्रदेश सरकार लॉजिस्टिक्स एंड वेयर हाउसिंग नीति 2018 के तहत मदद करेगी।
इस्टर्न डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर के आसपास बसाने की तैयारी
अमृतसर से कोलकाता के दनाकुनी तक बनाए जा रहे इस्टर्न डेडीकेटेड फ्रेट कॉरीडोर का निर्माण डीएफसीसी द्वारा किया जा रहा है। इस कॉरीडोर के स्टेशनों के आसपास ही लॉजिस्टिक पार्कों की स्थापना को राज्य सरकार बढ़ावा दे रही है। कॉरपोरेशन भी ज्यादा से ज्यादा पार्कों की स्थापना करना चाहता है, ताकि उद्यमियों को वहां बने वेयर हाउस में अपने माल रखने में आसानी हो। वे इस कॉरीडोर के माध्यम से एक शहर से दूसरे शहर और बंदरगाहों तक अपना माल आसानी से पहुंचा सकें और वहां ले ला सकें। अभी कारोबारियों व उद्यमियों के समक्ष अपने माल को रखने में तमाम तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है, लेकिन इन पार्कों में बड़े वेयरहाउस होंगे तो वहां वे उसे किराए पर ले सकेंगे।
पार्क में होंगी ये सुविधाएं
पार्क में वेयरहाउस, कोल्ड स्टोरेज, ड्राई कार्गो, स्टोरेज, कंटेनर डिपो, कार्यालय, परिवहन सुविधाओं के अलावा मेडिकल सेंटर और कैंटीन जैसी सुविधाएं भी होंगी। औरैया के डीएम ने प्राधिकरण के प्रस्ताव पर अछल्दा में ग्राम समाज की भूमि चिह्नित कर उसे कब्जा मुक्त कराया। यह भूमि प्राधिकरण के पक्ष में पुनग्र्रहीत की जाएगी और फिर उसे कॉरपोरेशन को आवंटित किया जाएगा। प्राधिकरण के सीईओ मयूर महेश्वरी के मुताबिक यह पार्क बनने के बाद उद्यमियों व कारोबारियों को बड़ी सुविधा उपलब्ध होगी। भूमि मिल गई है अब इसे कॉरपोरेशन को दिया जाएगा।
औद्योगिक क्षेत्रों के विकास के लिए केंद्र से मिलेगा धन
क्लस्टर डेवलमपेंट स्कीम के तहत केंद्र सरकार औद्योगिक क्षेत्रों के विकास के लिए धन देगी। ऐसे औद्योगिक क्षेत्र जहां एक ही श्रेणी के 30 या उससे अधिक उद्योग हैं, उनके विकास के लिए धनराशि आवंटित होनी है। ऐसे में अब यूपीसीडा प्रबंधन ऐसे औद्योगिक क्षेत्रों को सूचीबद्ध कर वहां विकास कार्यों पर कितना धन खर्च होगा इसका एस्टीमेट तैयार करा रहा है।