कानपुर में लॉजिस्टिक पार्कों की स्थापना में मदद करेगा यूपीसीडा, औद्योगिक भूखंड की दर पर देगा भूमि
उप्र राज्य औद्योगिक प्राधिकरण के सीईओ को लॉजिस्टिक पार्क की स्थापना के लिए नोडल अफसर बनाया गया है। भूमि के अधिग्रहण और पुनग्र्रहण के लिए जिला प्रशासन को प्राधिकरण की ओर से पत्र भी लिखा गया है ।
कानपुर, जेएनएन। उप्र राज्य औद्योगिक विकास प्राधिकरण लॉजिस्टिक पार्कों की स्थापना में उद्यमियों और संस्थाओं को मदद करेगा। इसके साथ ही प्राधिकरण की भूमि पर अगर लॉजिस्टिक पार्क या वेयर हाउस स्थापित करते हैं तो औद्योगिक भूखंड की दर पर ही भूखंड आवंटित करेगा। इसके लिए शासन ने प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) मयूर माहेश्वरी को नोडल अधिकारी बनाया है। इसी कड़ी में सरसौल गांव के पास हाथीपुर में इस्टर्न डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर कॉरपोरेशन की ओर प्रस्तावित लॉजिस्टिक पार्क की स्थापना के लिए भूमि के अधिग्रहण और पुनग्र्रहण के लिए जिला प्रशासन को प्राधिकरण की ओर से पत्र लिखा गया है।
सूबे में लॉजिस्टिक पार्कों और वेयर हाउस को बढ़ावा देने के लिए लगातार प्रयास हो रहा है। राज्य सरकार की कोशिश है कि अमृतसर से कोलकाता जा रहे डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के स्टेशनों के आसपास, बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे, पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे, लखनऊ-आगरा, आगरा-नोएडा यमुना एक्सप्रेस-वे और राष्ट्रीय राजमार्गों के किनारे ज्यादा से ज्यादा लॉजिस्टिक पार्क और वेयरहाउस स्थापित हों। इससेउद्यमियों और विभिन्न कंपनियों को अपने माल रखने में आसानी होगी।
अब लॉजिस्टिक पार्क और वेयरहाउस निर्माण की नीति को अपना लिया गया है। सभी औद्योगिक क्षेत्रों में औद्योगिक दर पर ही भूखंड आवंटित करने का निर्णय लिया है। सूबे में कोई भी सरकारी उपक्रम या संस्था लॉजिस्टिक पार्क स्थापित करना चाहेगी तो उसे बड़े पैमाने पर भूमि की जरूरत होगी। इसमें अधिग्रहण व पुनग्र्रहण को लेकर प्राधिकरण मदद करेगा। प्राधिकरण की ओर से औरैया के अछल्दा के पास 450 एकड़ भूमि कॉरपोरेशन को देने की तैयारी है। हाथीगांव में करीब 70 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण व पुनग्र्रहण कर कॉरपोरेशन को देने का पत्र भी डीएम को दिया गया है। इसके साथ ही एक दर्जन और स्थानों पर स्थापना में मदद की तैयारी की जा रही है।