कानपुर के झकरकटी बस अड्डे पर बनेगा शापिंग माॅल और मल्टीप्लेक्स, यात्रियों को मिलेगी फ्री वाई-फाई की सुविधा
17 बस स्टेशनों को पीपीपी माडल पर माडल बस स्टेशन बनाने की योजना पांच साल पहले बनी थी लेकिन किसी कंपनी के आगे न आने से यह परवान नहीं चढ़ सकी। अब कैबिनेट से ही इस प्रोजेक्ट को मंजूरी मिल गई है।
कानपुर, जेएनएन। झकरकटी बस स्टेशन को प्राइवेट पब्लिक पार्टनरशिप के तहत माडल बनाने की वर्षों पुरानी योजना अब परवान चढ़ेगी। कैबिनेट की मंजूरी के बाद अब इस स्टेशन के विकास के लिए टेंडर मांगे जाएंगे और कंपनी का चयन किया जाएगा। बस स्टेशन पर यात्रियों के रात्रि निवास के लिए एसी रूम तो होंगे ही यहां होटल, शापिंग माल, मल्टीप्लेक्स की सुविधा भी होगी। यात्रियों को फ्री वाई-फाई की सुविधा भी मिलेगी।
17 बस स्टेशनों को पीपीपी माडल पर माडल बस स्टेशन बनाने की योजना पांच साल पहले बनी थी, लेकिन किसी कंपनी के आगे न आने से यह परवान नहीं चढ़ सकी। अब कैबिनेट से ही इस प्रोजेक्ट को मंजूरी मिल गई है। साथ ही नियम और शर्तों में भी कुछ राहत दी गई है। ऐसे में इसके विकास में आसानी होगी। इस बस स्टेशन से प्रतिदिन 25 सौ से अधिक बसें विभिन्न शहरों के लिए जाती हैं, लेकिन यहां सुविधाओं के नाम पर कुछ भी नहीं है। अब यहां रात्रि में ठहरने के लिए करीब सौ कमरे बनेंगे, मनोरंजन के साधन होंगे, वाहनों की पार्किंग, बसों के प्लेटफार्म, परिचालकों और चालकों के लिए विश्रामालय, मोबाइल चार्जिंग प्वांइट, इलेक्ट्रिक बसों के चार्जिंग का प्वाइंट भी यहां बनेगा। झकरकटी बस स्टेशन पर 26,765 वर्गमीटर भूमि है जिस पर आधुनिक बस स्टेशन बनेगा। इसके विकास में करीब 166 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। जब यह बनकर तैयार हो जाएगा तो फिर यात्रियों को बसों को पकडऩे के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। वे निर्धारित प्लेटफार्म पर पहुंचकर आसानी से बस में बैठ जाएंगे। अभी तो उन्हें भटकना पड़ता है। कौन से शहर जाने वाली बस कहां खड़ी है कुछ पता ही नहीं चलता। इससे यात्री परेशान होते हैं। जबकि माडल बनने के बाद तो यात्री जब रात में आएंगे तो उन्हें होटल में ठहरने के लिए भटकना नहीं पड़ेगा वे आसानी से यहीं रात्रि में ठहर जाएंगे।