महोबा में बुंदेलीसमाज के लोगों ने अन्ना हजारे को खून से पत्र लिखा... अब आपका ही सहारा है
जंगल को बचाने के लिए गुहार लगाई है। अपने खून से लिखे खत में लिखा है अन्ना हजारे सादर नमन आज हम मजबूर होकर आपको अपने खून से खत लिख रहे हैं। प्लीज बुंदेलखंड के बेशकीमती बक्सवाहा जंगल को कटने से बचाने में हमारी मदद कीजिए।
कानपुर, जेएनएन। भ्रष्टाचार के खिलाफ देश व्यापी मुहिम चलाने वाले अन्ना हजारे को मध्यप्रदेश के बक्सवाहा जंगल को बचाने के लिए महोबा के बुंदेली समाज ने खून से खत लिखा है। कहा है कि अब आप का ही सहारा है। बुंदेलखंड के बेशकीमती बक्सवाहा जंगल को बचा लीजिए। हमारी मदद कीजिए।
मध्यप्रदेश के विशाल बक्सवाहा जंगल को बचाने की मुहिम में बुंदेली समाज ने कई जिलों के सामाजिक संगठनों को जोड़ लिया है। इसमें हमीरपुर, फतेहपुर, बांदा, चित्रकूट, छतरपुर के संगठन शामिल हैं। प्रधानमंत्री को इस संबंध में पहले ही खून से करीब पांच सौ एक खत लिख कर बुंदेली समाज के संयोजक तारा पाटकर के नेतृत्व में भेजे जा चुके हैं। अब समाज सेवी अन्ना हजारे से इस जंगल को बचाने के लिए गुहार लगाई है। अपने खून से लिखे खत में लिखा है, अन्ना हजारे सादर नमन, आज हम मजबूर होकर आपको अपने खून से खत लिख रहे हैं। प्लीज, बुंदेलखंड के बेशकीमती बक्सवाहा जंगल को कटने से बचाने में हमारी मदद कीजिए। इस जंगल में हीरा भंडार निकल आने के कारण मध्य प्रदेश सरकार ने आदित्य बिड़ला ग्रुप को 2.15 लाख वृक्ष काटने की अनुमति दे दी है। मामला केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय में विचाराधीन है। सुप्रीम कोर्ट में पीआईएल भी दायर की गई है जिसकी सुनवाई एक जुलाई को है। आप हम बुंदेलों की मदद कीजिए। जय-जय बुंदेलखंड। बुंदेली समाज के संयोजक तारा पाटकर ने बताया कि खून से लिखा हुआ पत्र अन्ना हजारे को उनके निवास महाराष्ट्र के जिला अहमद नगर गांव रालेगनसिद्वि पते पर भेज कर इस मुहिम को सफल बनाने में मदद मांगी गई है। बताया कि आसपास जिले के सामाजिक संगठनों की बहुत मदद मिल रही है।
अभियान में जुड़े लोगों ने सराहा : बक्सवाहा जंगल को बचाने में जुटे जिला छतरपुर के लोगों में समाजसेवी आशिक मंसूरी बक्सवाहा, विवेक उपाध्याय भोपाल, करुणा राजवंशी छतरपुर, राजेश यादव, गोपाल बरेला, चंद्रभा सिंह आदि ने इस मुहिम में महोबा का योगदान मिलने पर बुंदेली समाज की सरहना की है।
ट््वीटर पर भी भेजा संदेश : अन्ना हजारे को खून से खत भेजने के साथ उनके ट््वीटर पर भी ट््वीट कर मदद मांगी गई है। इसमें बुंदेली समाज के साथ अन्य जिलों के सामाजिक संगठन के पदाधिकारियों ने भी ट््वीट किया है।