कानपुर : तेंदुआ तो पकड़ में नहीं आया, ठंड से बकरे की चढ़ गई बलि तो अब कुत्ते को बनाया 'बकरा'

कानपुर के नवाबगंज क्षेत्र स्थित वीएसएसडी कालेज में आए तेंदुए को पकड़ने के लिए वन विभाग की टीम ने तीन पिजड़े लगाए हैं और ट्रैंकुलाइज करने के इंतजाम भी किए गए हैं। बकरे की मौत के बाद अब पिंजड़े में कुत्ता बांधा गया है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Publish:Wed, 01 Dec 2021 04:44 PM (IST) Updated:Wed, 01 Dec 2021 04:44 PM (IST)
कानपुर : तेंदुआ तो पकड़ में नहीं आया, ठंड से बकरे की चढ़ गई बलि तो अब कुत्ते को बनाया 'बकरा'
तेंदुए को पकड़ने के लिए पिजड़े लगाए गए हैं।

कानपुर, जागरण संवाददाता। शहर के नवाबगंज क्षेत्र में घुसे तेंदुए को पकड़ने के लिए वन विभाग की टीम लाख जतन कर रही है लेकिन तीन दिन बाद भी सफलता हाथ नहीं लगी है। तेंदुए को पकड़ने के लिए तीन पिजड़े भी लगाए गए लेकिन उसमें उसे अबतक फंसाने में कामयाबी नहीं मिली है। आलम यह है कि तेंदुए को फंसाने के लिए एक बकरे की बलि चढ़ चुकी है और अब कुत्ते को बलि का बकरा बनाया गया है।

वीएसएसडी कालेज कैंपस में दिखा था तेंदुआ

नवाबगंज क्षेत्र स्थित वीएसएसडी डिग्री कालेज कैंपस में शनिवार की शाम तेंदुआ घुस आया था, उसे सीसीटीवी फुटेज में देखे जाने के बाद वन विभाग, पुलिस और प्रशासनिक टीम ने सक्रियता बढ़ाई। वन विभाग की टीम ने कालेज कैंपस समेत जंगल में तीन पिजड़े लगवाए और ट्रैंकुलाइज (बेहोश करना) करने के इंतजाम भी किया गया है। तीन रात लगातार कांबिंग भी कराई लेकिन अभी तक तेंदुआ पकड़ा नहीं जा सका है। वहीं तेंदुआ तीन जानवरों को अपना शिकार बना चुका है। पिजड़े में उसे फंसाने के लिए एक बकरा भी बांधा गया था, वहीं पीलीभीत से ट्रंक्युलाइजर के साथ टीम को भी बुलाया गया है। तेंदुए के पद चिह्नों के आधार पर उसकी लोकेशन तलाशी जा रही है।

हालांकि अब कहा जा रहा है कि तेंदुआ कालेज कैंपस से निकलकर गंगा बैराज की ओर चला गया है। बीती रात बैराज के गार्ड ने उसे देखे जाने की भी पुष्टि की है। फिलहाल आसपास की बस्ती में दहशत का आलम है और शाम ढलते ही सन्नाटा पसर जाता है। तेंदुआ पकड़ने के लिए अब कैमरा ट्रैप की कवायद शुरू हुई है। डीएफओ अरविंद यादव ने बताया कि अगर तेंदुआ कैमरा ट्रैप में दिखता है तो उसे ट्रैंकुलाइज करके पकड़ने की पूरी कोशिश होगी।

ठंड से बकरे की गई जान, अब कुत्ता बैठाया गया

वन विभाग के अफसरों को अभी तक तेंदुआ तो नहीं मिला, मगर उसे पकडऩे के लिए जिस बकरे को पिंजड़े में रखा गया था, उसकी मंगलवार को मौत हो गई। चिडिय़ाघर के चिकित्सक मो. नासिर ने बताया कि बकरे को ठंड से निमोनिया हो गया था, जिससे उसकी मौत हुई है। अब पिंजड़े में कुत्ता बैठाया गया है। माना जा रहा है कि तेंदुआ मादा है, इसलिए कालेज परिसर में जो पिंजड़ा रखा है, उसमें नर तेंदुए की यूरीन आसपास छिड़की गई है।

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