कानपुर कपड़ा कमेटी के चुनाव में पुरानों पर भारी पड़ सकता है युवा गुट, दिसंबर में होना है चुनाव
कानपुर कपड़ा कमेटी के चुनाव में 23 निदेशकों के पदों पर चुनाव होता है और इसमें से 12 सदस्यों का जो समर्थन पा जाता है वह अध्यक्ष पद पर चुन लिया जाता है।चरनजीत सागरी और काशी गुट के अलावा युवा कारोबारियों का एक अलग गुट भी तैयार हो गया है।
कानपुर, जागरण संवाददाता। कानपुर कपड़ा कमेटी का चुनाव दिसंबर में होने है। 2017 में भी दिसंबर में कपड़ा कमेटी का चुनाव हुआ था। हालांकि कानपुर कपड़ा कमेटी के अध्यक्ष चरनजीत सिंह सागरी उस समय विपक्ष में थे और उन्होंने इसका विरोध किया था।
कानपुर कपड़ा कमेटी के चुनाव सितंबर में होते हैं और एक बार के चुनाव का कार्यकाल दो वर्ष का होता है। इसके चुनाव सितंबर में होने थे लेकिन चुनाव को दो माह से टाला जा रहा है। अब इसके एक माह और बढ़ाने की अनुमति मिल गई है तो अब दिसंबर में इसके चुनाव हो रहे हैं।
2017 में जीएसटी लागू हुआ था और उस समय कानपुर कपड़ा कमेटी ने बाजार बंद कर बड़ा आंदोलन किया था। व्यापारियों का मानना था कि जीएसटी कपड़ा कारोबार के लिए ठीक नहीं होगा। दुकानें बंद कर जुलूस भी निकाले गए। लंबे आंदोलन के बाद भी जीएसटी से कपड़े को हटाने में व्यापारी सफल नहीं हो सके थे। इसको लेकर कारोबारियों में नाराजगी थी। इसे देखते हुए पहले दो माह चुनाव बढ़ाए गए और उसके बाद एक माह फिर चुनाव को बढ़ा दिया गया। कानपुर कपड़ा कमेटी के चुनाव में 23 निदेशकों के पदों पर चुनाव होता है और इसमें से 12 सदस्यों का जो समर्थन पा जाता है वह अध्यक्ष पद पर चुन लिया जाता है। पिछले दो चुनाव से चरनजीत सागरी और काशी गुट के अलावा युवा कारोबारियों का एक अलग गुट भी तैयार हो गया है। इस गुट के सदस्यों ने पिछले चुनाव में अपनी मजबूत उपस्थिति तो दर्ज कराई ही, इसके अलावा चुनाव के समीकरण भी बदल दिए थे। अब इस चुनाव में युवा कारोबारियों के सदस्यों की संख्या और बढऩे की उम्मीद जताई जा रही है क्योंकि वे ज्यादा संख्या में मैदान में उतरने जा रहे हैं।