कन्नौज में पत्नी को मुखाग्नि देने के बाद पति के भी उड़े प्राण पखेरू, क्षेत्र में यह घटना बनी चर्चा
ग्राम चपुन्ना निवासी 96 वर्षीय सुरेशचंद्र दुबे अपनी 91 वर्षीय पत्नी कमला देवी के साथ ही रहते थे। गुरुवार को कमला देवी का निधन हो गया। शुक्रवार को सुबह उनके बेटे आदित्य अनिल व अरुण दुबे स्वजन के साथ गांव के बाहर अंतिम संस्कार के लिए ले गए।
कानपुर, जेएनएन। अग्नि के समक्ष साथ जीने-मरने का लिया वचन 96 वर्षीय सुरेशचंद्र दुबे ने निभाया। पत्नी 91 वर्षीय कमलादेवी की चिता को मुखाग्नि देने के बाद उन्होंने भी शरीर त्याग दिया। स्वजन ने पत्नी की चिता के पास ही उनका भी अंतिम संस्कार किया। दंपती के निधन की ये घटना चर्चा का विषय बनी है। ग्राम चपुन्ना निवासी सुरेशचंद्र दुबे पत्नी 91 वर्षीय कमला देवी के साथ रहते थे। गुरुवार को कमला देवी का निधन हो गया। शुक्रवार को सुबह उनके बेटे आदित्य, अनिल व अरुण दुबे स्वजन के साथ गांव के बाहर अंतिम संस्कार के लिए ले गए। सुरेशचंद्र दुबे ने नम आंखों से पत्नी की चिता को मुखाग्नि दी और वहीं बैठ गए। स्वजन के मुताबिक थोड़ी ही देर बाद उनका भी निधन हो गया। उनका भी अंतिम संस्कार कमला देवी की चिता के पास किया गया। कमला देवी के पौत्र राहुल ने बताया कि बाबा-दादी हमेशा एक-दूसरे का ख्याल रखते थे। दादी की मृत्यु के बाद बाबा काफी व्यथित हो गए थे लेकिन मृत्यु भी उन्हें अलग नहीं कर पाई।
चिता की आग से जली झाडिय़ां : दंपती की चिता की आग ने आसपास खड़ी झाडिय़ों को भी चपेट में ले लिया। पास में ही गेहूं की पकी फसल खड़ी थी। आग बढ़ती देख दमकल को सूचना दी गई। दमकलकर्मियों ने आग बुझाई। इलाके में यह घटना चर्चा का विषय बनी हुई है।