Bank News: कानपुर में 5.9 लाख निष्क्रिय खातों में ग्राहकों के फंसे 200 करोड़, जानें- कैसे वापस पा सकते राशि

एक साल से अधिक समय तक बैंक खाता संचालित न होने पर निष्क्रिय कर देता है और जमा राशि रिजर्व बैंक के पास अनक्लेम खाते में चली जाती है। ऐसे खातों की बड़ी रकम बैंकों में ग्राहकों की फंसी जिसे वापस भी लिया जा सकता है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Publish:Sat, 15 May 2021 08:58 AM (IST) Updated:Sat, 15 May 2021 09:02 AM (IST)
Bank News: कानपुर में 5.9 लाख निष्क्रिय खातों में ग्राहकों के फंसे 200 करोड़, जानें- कैसे वापस पा सकते राशि
बैंकों में कई खातों का संचालन बंद है।

कानपुर, जेएनएन। शहर में इस समय 5.9 लाख बैंक खाते निष्क्रिय पड़े हैं। इनका संचालन एक वर्ष से ज्यादा समय से नहीं किया गया है। ग्राहकों के इनमें जमा करीब 200 करोड़ रुपये फंसे हुए हैं। हालांकि ग्राहक यह राशि वापस पा सकते हैं, इसके लिए कुछ जरूरी औपचारिकताएं पूरी करनी होती है। वैसे बैंकों को वित्तीय वर्ष के अंत में आरबीआई को इन खातों की जानकारी देनी होती है।

एक वर्ष संचालन न होने पर निष्किय हो जाते हैं खाते

बैंक खाते में रुपये कम होने पर बहुत से ग्राहक उसे संचालित करना छोड़ देते हैं। एक वर्ष बीतने पर ऐसे ही खाते निष्क्रिय माने जाते हैं। इसके साथ ही खाताधारक के निधन होने और उस खाते में जमा राशि के लिए किसी के दावा न करने पर भी उन्हें एक वर्ष बाद निष्क्रिय मान लिया जाता है। इनको दोबारा संचालित करने के लिए ग्राहक को अपनी केवाइसी देनी होती है, जिसके बाद खाता फिर संचालित हो सकता है।

सामान्य तौर पर खाता एक वर्ष में निष्क्रिय हो जाता है, लेकिन कुछ बैंक इसे छह माह, कुछ दो वर्ष की अवधि के बाद ऐसा करते हैं। यही बैंक खाते जब 10 वर्ष तक निष्क्रिय रहते हैं तो वे अनक्लेम खाते में बदल जाते हैं। बैंक उसकी राशि रिजर्व बैंक के डिपाजिटर एजुकेशन एंड अवेयरनेस फंड में ट्रांसफर करते हैं। इस फंड का इस्तेमाल खाताधारकों की बैंकिंग जागरूकता बढ़ाने के लिए किया जाता है। बैंकिंग रेगुलेशन एक्ट 1949 के सेक्शन 26 के निर्देशों के तहत सभी बैंकों को वित्तीय वर्ष की समाप्ति के 30 दिन के अंदर रिजर्व बैंक को उन खातों की जानकारी देनी होती है, जो 10 वर्ष से संचालित नहीं हुए हैं।

इन अनक्लेम खातों पर भी मिलता ब्याज

ऐसा नहीं है कि इन अनक्लेम खातों पर ब्याज नहीं मिलता। पहले इन पर चार फीसद की दर से ब्याज दिया जाता था। बाद में इसे 3.5 फीसद किया गया और अब 11 मई 2021 से इसे तीन फीसद कर दिया गया है।

इस धन को भी वापस पाया जा सकता

खाताधारक अनक्लेम हो चुके धन को वापस भी पा सकता है। इसके लिए बैंक से उसे कागजी कार्यवाही पूरी करनी होती है। बैंक अधिकारियों के मुताबिक, इसके लिए केवाइसी देनी होगी।

वित्तीय वर्ष वार फंड में जमा हुई धनराशि

2019-20 : 33,114 करोड़

2018-19 : 25,747 करोड़

जानिए- कुछ खास तथ्य

-2014 में डिपाजिटर एजुकेशन एंड अवेयरनेस फंड योजना की शुरुआत हुई थी।

- 2016 तक महज दो वर्ष बाद ही देश भर में 2.63 करोड़ खातों का 8,864 करोड़ रुपया अनक्लेम के रूप में जमा हो चुका था। ग्राहक अपनी केवाइसी लगाकर निष्क्रिय और अनक्लेम खाते को संचालित करा सकते हैं। चाहें तो खाता बंद करके रुपये भी वापस ले सकते हैं। -एके वर्मा, अग्रणी जिला प्रबंधक।

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