Kanpur GSVM Medical कॉलेज के डॉक्टरों पर सख्ती की तैयारी, बायोमेट्रिक उपस्थिति होगी अनिवार्य

डॉक्टरों के समय से अस्पताल नहीं पहुंचने और निजी प्रैक्टिस की शिकायतें लगातार शासन तक पहुंच रही हैं। इससे मेडिकल कॉलेज में पठन पाठन भी प्रभावित हो रहा है और हैलट अस्पताल में चिकित्सकीय व्यवस्था गड़बड़ा गई है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Publish:Wed, 24 Feb 2021 08:55 AM (IST) Updated:Wed, 24 Feb 2021 08:55 AM (IST)
Kanpur GSVM Medical कॉलेज के डॉक्टरों पर सख्ती की तैयारी, बायोमेट्रिक उपस्थिति होगी अनिवार्य
मेडिकल काॅलेज के डॉक्टरों पर कसा जाएगा शिकंजा।

कानपुर, जेएनएन। जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के विभिन्न विभागों में कार्यरत सीनियर कंसल्टेंट (डॉक्टर) अस्पताल एवं विभाग का कार्य छोड़कर निजी प्रैक्टिस में व्यस्त हैं। इसकी शिकायतें लगातार शासन तक पहुंच रही हैं। अब शासन के निर्देश पर प्राचार्य ने इस पर रोक लगाने की तैयारी शुरू कर दी है।

जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के क्लीनिकल विभागों की बड़ी संख्या में फैकल्टी, सीनियर रेजीडेंट एवं इमरजेंसी मेडिकल ऑफिसर प्राइवेट प्रैक्टिस में संलिप्त हैं। कोई क्लीनिक चला रहा है तो कोई नर्सिंग होम या निजी अस्पताल की ओपीडी में बैठ रहा है। ऐसी शिकायतें लगातार शासन को मिल रही हैं। निजी प्रैक्टिस की वजह से विभाग एवं अस्पताल में उनकी उपलब्धता भी नहीं होती है। इस वजह से मेडिकल कॉलेज में पठन-पाठन और हैलट एवं संबद्ध अस्पतालों में चिकित्सकीय व्यवस्था गड़बड़ा रही है।

शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए शासन ने महानिदेशक चिकित्सा शिक्षा (डीजीएमई) को तत्काल सुधार के निर्देश दिए हैं। उन्होंने प्राचार्य को व्यवस्था सुधारने के लिए कहा है। इसके बाद तय किया गया है कि अब फैकल्टी और डॉक्टरों को बायोमेट्रिक उपस्थिति दर्ज कराना अनिवार्य होगा। विभागों से पहले से ही मशीनें लगी हैं। जहां नहीं हैं, वहां नई मशीनें लगाई जाएंगी। इसके बाद ये व्यवस्था शुरू होगी।

सीसीटीवी से भी होगी निगरानी

जहां-जहां बायोमेट्रिक मशीनें लगी हैं, वहां क्लोज सर्किट टीवी कैमरा (सीसीटीवी) लगाया जाएगा, ताकि जब कोई उपस्थिति दर्ज कराएगा तो उसकी रिकार्डिंग भी सीसीटीवी में होगी। मेडिकल कॉलेज की फैकल्टी एवं अस्पतालों के डॉक्टरों व अधिकारियों के प्राइवेट प्रैक्टिस में संलिप्त होने की शिकायतें लगातार शासन तक पहुंच रही हैं। अब सभी की उपस्थिति जांची जाएगी। औचक निरीक्षण भी किया जाएगा। -प्रो. आरबी कमल, प्राचार्य, जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज

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