आराम न मिलने पर दूसरी स्टाफ नर्स को कानपुर भेज

- सीएमएस की बैठक के बीच बिगड़ गई थी सोमवार को तबीयत - आउटसोर्सिग पर तैनात पैरामेडिकल क

By JagranEdited By: Publish:Tue, 12 Oct 2021 07:59 PM (IST) Updated:Tue, 12 Oct 2021 07:59 PM (IST)
आराम न मिलने पर दूसरी स्टाफ नर्स को कानपुर भेज
आराम न मिलने पर दूसरी स्टाफ नर्स को कानपुर भेज

- सीएमएस की बैठक के बीच बिगड़ गई थी सोमवार को तबीयत

- आउटसोर्सिग पर तैनात पैरामेडिकल को नौकरी जाने का डर

संवाद सहयोगी, छिबरामऊ: नौकरी जाने के डर से परेशान पैरामेडिकल स्टाफ में दो स्टाफ नर्स की तबीयत खराब है। कानपुर में उपचार चल रहा है। कर्मचारियों को राजनेताओं की पहल के बाद शासन के निर्णय का इंतजार है।

नगला दिलू स्थित 100 शैया अस्पताल में करीब 52 पैरामेडिकल स्टाफ कर्मी कार्य कर रहे हैं। 30 सितंबर को सेवा प्रदाता कंपनी अवनि परिधि का टेंडर समाप्त हो जाने की जानकारी सीएमएस ने कर्मियों को दी थी। नई कंपनी के लिए आवेदन करने को कहा था। इस कंपनी ने स्टाफ नर्स के केवल 15 पद बताए हैं, जबकि वर्तमान समय में 26 पदों पर स्टाफ नर्स हैं। ऐसे में सभी को नौकरी जाने का डर सता रहा है। तनाव में आने की वजह से स्टाफ नर्स विवेक की हालत बिगड़ गई थी। गंभीर हालत में कार्डियोलाजी भेजा गया था। वह आइसीयू में भर्ती हैं। स्टाफ नर्स पत्नी संगीता ने आत्महत्या कर लेने की चेतावनी दी थी। सोमवार को सीएमएस की बैठक के भी स्टाफ नर्स आरती की हालत बिगड़ गई थी। मंगलवार को उन्हें भी कानपुर भेज दिया गया। करीब एक सप्ताह से चल रही इस असमंजस की स्थिति में अस्पताल की स्वास्थ्य सेवाएं प्रभावित हो रही हैं। सीएमएस डा. राजेश कुमार तिवारी ने बताया कि किसी की नौकरी प्रभावित नहीं होगी। पद बढ़ाने के लिए शासन को पत्र भेजा है। अब रिमाइंडर भेजा जाएगा। .. सीएमएस का पत्र गोलमोल

कर्मचारियों को राहत देने के लिए मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डा. राजेश कुमार तिवारी ने 12 अक्टूबर को पत्र जारी किया है। इसमें आउटसोर्सिग स्टाफ नर्स व चतुर्थ श्रेणी कर्मियों को अवगत कराया गया है कि सेवा प्रदाता कंपनी अवनि परिधि एनर्जी प्राइवेट लिमिटेड लखनऊ का टेंडर समाप्त हो गया है। दूसरी सेवा प्रदाता कंपनी एसएम इंटरप्राइजेज का टेंडर जेम पोर्टल के माध्यम से स्वीकृत किया गया है। ऐसे में अवगत कराया जा रहा है कि किसी भी कर्मचारी की सेवाएं बाधित नहीं की जाएंगी। न ही किसी कर्मचारी को निष्कासित किया जाएगा। किसी कर्मचारी से कोई रजिस्ट्रेशन संविदा शुल्क भी नहीं लिया जाएगा। हालांकि सीएमएस का ये पत्र गोलमोल भाषा में लिखा बताया जा रहा है। इसमें न ही कर्मचारियों को नई कंपनी में आवेदन करने को बताया गया है। नई भर्ती न किए जाने का कोई आश्वासन भी नहीं दिया गया है।

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