किसानों की अनुमति के बिना फसल बीमा नहीं
जागरण संवाददाता जौनपुर प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में किसान क्रेडिट कार्ड पर कर्ज लेने वा
जागरण संवाददाता, जौनपुर: प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में किसान क्रेडिट कार्ड पर कर्ज लेने वाले अन्नदाताओं की फसलों का ही बीमा किया जाता है। अधिकांश किसानों को तो इसकी जानकारी ही नहीं होती। बैंक कर्ज देते समय प्रीमियम की धनराशि काट ली जाती थी। इतना ही नहीं फसलों की क्षतिपूर्ति का लाभ भी किसानों को नहीं मिल पा रहा है। ऐसे में अब बैंकों को मनमानी नहीं चलेगी। फसलों के बीमा के लिए अब बैंकों को अनुमति लेनी होगी।
प्रकृति की मार से बर्बाद हो रहे किसानों को बचाने के लिए केंद्र सरकार से संचालित प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना लागू की गई है। जिम्मेदारों की उदासीनता और योजना के संचालन में खामी के चलते इसका अपेक्षित लाभ जरूरतमंदों को नहीं मिल रहा है। जिले के अधिकांश किसान इस महत्वाकांक्षी योजना का फायदा नहीं उठा पा रहे हैं। गत कई साल से ऋण लेकर बोई गई फसलों का ही बीमा हो रहा है, वह भी बैंकों द्वारा ऋण लेने वाले किसानों से बिना पूछे स्वत: किया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर पात्र करीब नब्बे प्रतिशत फसलों का बीमा नहीं हो पाता है। फसलों का बीमा तो कर दिया जाता था लेकिन उन्हें बर्बादी का मुआवजा भुगतान करने में बीमा कंपनी हीला-हवाली करती है। सरकार ने इस खामी को देखते हुए नई व्यवस्था लागू की है। अब खेती के लिए ऋण लेने वाले किसानों की फसलों का बीमा बिना उनकी अनुमति के नहीं किया जाएगा। फसल बीमा एक नजर में.
फसल- बीमित राशि प्रति हेक्टर- कृषक अंश
धान- 64687- 1293.74 रुपया
मक्का- 28959- 579.18 रुपया
बाजरा-24784- 495.68 रुपया
ज्वार- 37587- 751.74 रुपया
उर्द- 49385- 987.70 रुपया
अरहर- 61260- 1225.20 रुपया
तिल-19001- 380.02 रुपया
बोले जिम्मेदार..
फसल बीमा के लिए 31 जुलाई तक तिथि निर्धारित की गई है। इस अवधि तक बीमा कराकर किसान योजना का लाभ प्राप्त करें। ऐसे किसान जिन्होंने फसल के लिए ऋण लिया है उसे 24 जुलाई तक बैंक में बीमा करने के लिए स्वीकृति देनी होगी। उनके बिना अनुमति से जबरन बीमा नहीं किया जाएगा।
-जय प्रकाश
उपनिदेशक कृषि।