खेती को उद्यम के रूप में अपनाने की आवश्यकता

जागरण संवाददाता जौनपुर कृषि विभाग के तत्वावधान में शनिवार को विकास खंड खुटहन एवं करंज

By JagranEdited By: Publish:Sat, 27 Nov 2021 04:58 PM (IST) Updated:Sat, 27 Nov 2021 04:58 PM (IST)
खेती को उद्यम के रूप में अपनाने की आवश्यकता
खेती को उद्यम के रूप में अपनाने की आवश्यकता

जागरण संवाददाता, जौनपुर: कृषि विभाग के तत्वावधान में शनिवार को विकास खंड खुटहन एवं करंजाकला परिसर में रबी उत्पादकता गोष्ठी का आयोजन किया गया। विशेषज्ञों ने किसानों की आय दोगुनी करने के उपाय, पराली प्रबंधन, गेहूं की लाइन में बोआई, विपणन व्यवस्था, मृदा स्वास्थ्य, रबी फसलों के बेहतर उत्पादन वाली तकनीक एवं लाभकारी कृषि योजनाओं की जानकारी दी गई। गोष्ठी को संबोधित करते हुए उप परियोजना निदेश डा. रमेश चंद्र यादव ने कहा कि प्रदेश का विकास ' कृषि के विकास' में निहित है। उन्होंने कहा कि किसानों को अब खेती को आजीविका के साधन के रूप में नहीं, बल्कि उद्यम के रूप में अपनाने की आवश्यकता है। इसमें कृषि तथा संबंधित विभागों यथा पशुपालन, उद्यान, मत्स्य, मंडी का सहयोग किसान भाइयों को लेना होगा। कृषि वैज्ञानिक डा. अनिल कुमार यादव ने किसानों को कतार में बोआई, फसल चक्र, संतुलित उर्वरक प्रबंधन, जल प्रबंधन, फसल अवशेष प्रबंधन, एकीकृत नाशीजीव प्रबंधन, समन्वित कृषि प्रणाली, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना एवं जैविक खेती की जानकारी विस्तार से दी। विशिष्ट अतिथि ब्लाक प्रमुख करंजाकला सुनील कुमार यादव व प्रमुख सुईंथाकला उमेश तिवारी ने भी गोष्ठी को संबोधित किया। अध्यक्षता ब्लाक प्रमुख बृजेश यादव व संचालन एडीओ मुकेश कुमार कन्नोजिया ने किया। एडीओ एजी डाक्टर मनोज यादव ने आभार जताया। डाक्टर चन्द्रमणि, प्रेमचंद पाल, जुनेद अहमद, राजेंद्र प्रसाद पाल, महेंद्र सिंह, अनिल सिंह, विमल सिंह, पंकज उपाध्याय, नीलम, आशा, रेखा, सुनीता आदि किसान मौजूद रहे।

chat bot
आपका साथी