ग्रामीण क्षेत्र के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों की बदलेगी तस्वीर
जागरण संवाददाता उरई कोविड-19 महामारी की संभावित तीसरी लहर के ²ष्टिगत जनपद में संचालित प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों (पीएचसी) को सु²ढ़ किया जाना आवश्यक है। शासन स्तर से लगातार निर्देश प्राप्त हो रहे हैं कि इन चिकित्सा इकाईयों को पूर्णत क्रियाशील किया जाए। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. ऊषा सिंह ने बताया कि मंडल से अब सुधार के निर्देश मिले है।
जागरण संवाददाता, उरई : कोविड-19 महामारी की संभावित तीसरी लहर के ²ष्टिगत जनपद में संचालित प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों (पीएचसी) को सु²ढ़ किया जाना आवश्यक है। शासन स्तर से लगातार निर्देश प्राप्त हो रहे हैं कि इन चिकित्सा इकाईयों को पूर्णत: क्रियाशील किया जाए। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. ऊषा सिंह ने बताया कि मंडल से अब सुधार के निर्देश मिले है।
शासन ने निर्देश दिए हैं कि प्रशासनिक स्तर से प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों की सड़क, बिजली, पानी की व्यवस्था सुनिश्चित कराई जाए। साथ ही स्वास्थ्य विभाग केंद्रों पर उपकरणों, औषधियों का पुख्ता इंतजाम करे। कोरोना की संभावित तीसरी लहर से पहले प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों की तस्वीर बदलना जरूरी है। दैनिक जागरण ने सीएचसी और पीएचसी में संसाधनों की कमी को लेकर लगातार अभियान चला रखा है। इस अभियान के बाद ही शासन और प्रशासन ने पैरवी शुरू की है। भवनों की मरम्मत के साथ की जाए रंगाई-पुताई
चिकित्सालय परिसर सभी भवनों की मरम्मत अनुरक्षण एवं रंगाई पुताई का कार्य भी कराने के निर्देश मंडल से मिले हैं। वहीं संपर्क मार्ग को सु²ढ़ करने के लिए जरूरी है। एंबुलेंस व अन्य वाहनों के सुगम आवागमन के लिए मुख्य मार्गों से स्वास्थ्य केंद्रों के मार्ग को जोड़ा जाए। बरसात के दौरान परिसर की साफ-सफाई के लिए अन्य विभागों के सफाई कर्मियों को इस कार्य में लाया जाए। चिकित्सालय की आंतरिक एवं बाह्य परिसर की समुचित प्रकाश व्यवस्था सुनिश्चित कराई जाएंगी। चिकित्सालय के लिए उनके स्तर के आवश्यक उपकरणों व औषधि की व्यवस्था भी सुनिश्चित होंगी। जनपद के अधिकारी करेंगे सर्वे
मुख्य चिकित्साधिकारी विभाग के अन्य जनपदीय अधिकारियों को भेजकर एक सर्वे कराया जाएगा। साथ ही आवश्यक उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित कराई जाएगी। जिससे तीसरी लहर से पूर्व सभी व्यवस्थाएं चाक-चौबंध हो सके। स्वास्थ्य कर्मियों को मिलेगा प्रशिक्षण
प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर तैनात मानव संसाधन को कोविड की तीसरी संभावित लहर के ²ष्टिगत आवश्यक प्रशिक्षण की व्यवस्था किया जाना है। प्रत्येक दिशा में सभी पीएचसी को पूर्णत: क्रियाशील रखा जाएगा, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों के मरीजों को उनके नजदीकी चिकित्सालयों में उपचार मिल सके। इस कार्य के लिए जनपद स्तर पर बेहतर समन्वय एवं मानीटरिग के लिए मुख्य विकास अधिकारी उत्तरदायी होंगे। कोट
मंडल स्तर पर पीएचसी की क्रियाशीलता के संबंध तैयारी चल रही है। 15 दिन बाद समीक्षा के लिए अपर निदेशक चिकित्सा स्वास्थ्य डा. अल्पना बरतारिया एवं मंडलीय परियोजना प्रबंधक आनंद चौबे को दायित्व सौंपा गया है।
डॉ. ऊषा सिंह, मुख्य चिकित्सा अधिकारी