डिग्री बीटेक, इंजीनियर बनना चाहते हैं पंचायत सहायक

संवाद सूत्र महेबा ग्रामीण क्षेत्र में हाई-फाई शिक्षा के बाद भी बेरोजगारी का यह आलम है कि

By JagranEdited By: Publish:Mon, 27 Sep 2021 06:06 PM (IST) Updated:Mon, 27 Sep 2021 06:06 PM (IST)
डिग्री बीटेक, इंजीनियर बनना चाहते हैं पंचायत सहायक
डिग्री बीटेक, इंजीनियर बनना चाहते हैं पंचायत सहायक

संवाद सूत्र, महेबा : ग्रामीण क्षेत्र में हाई-फाई शिक्षा के बाद भी बेरोजगारी का यह आलम है कि इंजीनियर एवं बीटेक डिग्री पाने के बाद ग्राम पंचायतों में पंचायत सहायक बनने की लाइन में आवेदन कर चुके हैं। चयन प्रक्रिया हाईस्कूल एवं इंटरमीडिएट के अंकों के आधार पर उच्च मेरिट की वरीयता के कारण इंजीनियर एवं बीटेक के आवेदन कर्ताओं को कोई प्राथमिकता नहीं है।

सरकार ने ग्राम पंचायतों के ग्राम सचिवालय में पंचायत कार्यालय खोलने के लिए पंचायत सहायकों की नियुक्ति के लिए एक माह पहले आवेदन आमंत्रित किए थे। पंचायत सहायक को एक माह में ग्राम पंचायत से 6000 रुपये मानदेय दिया जाना है। जो कार्यालय में प्रतिदिन 10 से 5 बजे तक उपस्थित रहेंगे। बीडीओ अतिरंजन सिंह ने बताया कि ब्लाक महेबा की 59 ग्राम पंचायतों में पंचायत सहायक के लिए 789 आवेदन पत्र आए थे जिसमें 161 आवेदन जिले पर जमा हुए थे। सबसे अधिक 36 आवेदन महेबा ग्राम पंचायत में जमा हुए थे तथा सबसे कम दो आवेदन सिमरा शेखपुर में आए थे। पंचायत सहायक का चयन हाईस्कूल एवं इंटरमीडिएट में प्राप्त किए गए अंकों की मेरिट के आधार पर किया जाना है। सूची तैयार होने के बाद जानकारी मिली की नौकरी की चाहत में इंजीनियर एवं बीटेक की उपाधि हासिल कर पंचायत सहायक बनने पर तसल्ली कर लेना चाहते हैं। शेखपुर गुढ़ा के बीटेक की डिग्री पाने वाले विमल प्रताप तथा मैनूपुर से इंजीनियर रामवीर व नूरपुर से बीटेक डिग्री धारक बबलू विश्वकर्मा ने अदना से पद के लिए आवेदन किया है। इसके बावजूद भी यह निश्चित नहीं है कि अंक तालिका की मेरिट के आधार पर इन्हें नौकरी मिल ही जाएगी। बीडीओ अतिरंजन सिंह ने बताया कि शासनादेश के मुताबिक हाई मेरिट के अनुसार ही चयन होना है लेकिन अगर किसी परिवार में कोरोना से पति-पत्नी अविवाहित पुत्री- पुत्र की मौत हुई है ऐसे परिवार के अभ्यर्थी को बगैर मेरिट के वरीयता दी जाएगी।

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