समय से पहले पकी गेहूं की फसल, दाना कमजोर

बढ़े तापमान का कहर.. - कम उपज की आशंका से किसान परेशान - कटाई के लिए नहीं मिल र

By JagranEdited By: Publish:Sun, 04 Mar 2018 07:19 PM (IST) Updated:Sun, 04 Mar 2018 07:19 PM (IST)
समय से पहले पकी गेहूं की फसल, दाना कमजोर
समय से पहले पकी गेहूं की फसल, दाना कमजोर

बढ़े तापमान का कहर..

- कम उपज की आशंका से किसान परेशान

- कटाई के लिए नहीं मिल रहे मजदूर

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जागरण संवाददाता, उरई :

गेहूं की बेहतर फसल की उम्मीदें गर्मी की आंच से झुलसने लगी हैं। गर्मी जोर पकड़ने से इस बार फसल जल्दी पक गई है। गेहूं का दाना पूरी तरह परिपक्व नहीं हो पाया है। जिस तरह खेतों में हरियाली दिख रही थी वैसी उपज मिलने की उम्मीद कम दिख रही है। किसानों के लिए फसल की कटाई भी चुनौती बन गई है। फसल काटने के लिए मजदूर नहीं मिल रहे हैं।

इस साल कोंच, जालौन और कालपी तहसील के कई गांवों में बारिश और ओलावृष्टि की वजह से गेहूं, सरसों, चना आदि की फसल को नुकसान पहुंचा है। हालांकि अन्य इलाकों में फसल अच्छी दिख रही थी। अब तेज गर्मी ने नुकसान कर दिया है। समय से पहले ही पक चुकी फसल कटाई के लिए तैयार है, लेकिन दाना कमजोर होने की वजह से गुणवत्ता प्रभावित हुई है। कृषि वैज्ञानिक डा. राजीव कुमार सिंह का कहना है कि गेहूं, सरसों और चना की फसल अच्छी दिख रही है, लेकिन तेज धूप की वजह से समय से पहले ही गेहूं पक गया है। मार्च के अंतिम तक कटाई होनी चाहिए थी। गेहूं का दाना कमजोर हो रहा है। सीधे तौर पर बीस फीसद पैदावार का नुकसान तय है। कम पैदावार का किसान को नुकसान उठाना होगा।

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कहते हैं किसान-

मजदूर खेतों में गिरी हुई गेहूं की फसल की कटाई करने को तैयार नहीं हैं। परेशान किसान दो गुनी से भी अधिक मजदूरी देने को तैयार है। इसके बावजूद मजदूर हामी नहीं भर रहे हैं।

-अश्वनी ¨सह

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मजदूर पहले खुद फसल की कटाई के लिए किसानों की मिन्नत करते थे। अब वे अपनी शर्तो पर काम कर रहे हैं। मजबूरी में फसल को हार्वेस्टर से कटवाना पड़ता है। जल्दी गेंहूं पकने से अभी तो इलाके में हार्वेस्टर भी नहीं आए हैं।

-जसवंत ¨सह

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गेहूं की कटाई की मजदूरी सबसे ज्यादा महंगी पड़ रही है। बीघा गेहूं की फसल काटने पर मजदूर एक क्विंटल गेहूं मांग रहे हैं। भले ही पैदावार का औसत दो या तीन क्विंटल प्रति बीघा से ही क्यों न हो।

-कौशल ¨सह

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खेत में फसल गिरी होने से काटने में अधिक समय लगेगा। फसल समेटना मुश्किल हो रहा है। मजदूर न मिलने से परिवार के भरोसे फसल की कटाई की तैयारी है। मौसम के रुख से परेशानी हो रही है।

-चौबे ¨सह

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फसल के हिसाब से कटाई की मजदूरी

गेहूं - एक ¨क्वटल प्रति बीघा

सरसों - सात सौ रुपये बीघा

चना, मसूर - सात सौ रुपये प्रति बीघा

दिहाड़ी महिला मजदूर - 190 रुपये प्रतिदिन

दिहाड़ी पुरुष मजदूर - 290 रुपये प्रतिदिन

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