पानी है अनमोल, जीवन के लिए अभी से बचाएं जल
पर्यावरणविद् जेपी तिवारी जल संरक्षण के लिए कर रहे हैं काम लोगों को पानी बचाने की दे रहे हैं सलाह।
जांस, हाथरस : जीवन के लिए पानी अनमोल है। आने वाली पीढ़ी के लिए पानी की बर्बादी आज और अभी से ही रोकनी होगी। कोविड काल में धोने और सफाई पर जोर देने के कारण पानी अधिक खर्च हो रहा है। आम दिनों में भी पानी की बर्बादी करने की बजाय इसे बचाना जरूरी हो गया है। पानी बचाने के लिए समाज में भी ऐसे लोग हैं, जो जागरूकता का काम कर रहे हैं। शहर के पर्यावरणविद् से जागरण ने बात की तो उन्होंने पानी बचाने के अनुभव साझा किए।
पानी की बर्बादी रोकने के लिए प्रयास हम अपने घर से शुरू कर सकते हैं। इसके लिए जरूरी है कि पानी को व्यर्थ न गवाएं। घर में भी नल खुले न रखें। आरओ से निकलने वाले पानी को क्यारी व अन्य कामों में प्रयोग कर सकते हैं। इसी प्रकार रसोई, स्नान गृह और कपड़े की धुलाई के बाद का पानी भी प्रयोग किया जा सकता है। वर्षा जल का भी संचय किया जा सकता है। इसके लिए प्लास्टिक की टंकी में नीचे बारीक छेद कर बालू, छोटी और बड़ी रोड़ी बिछाकर जमीन में गड्ढा कर छोड़ा जा सकता है। इससे भूगर्भ जल स्तर भी बढ़ेगा और नालियों में पानी भी ओवरफ्लो नहीं होगा। इस संबंध में जिलाधिकारी को भी बता चुके हैं। वाटर वर्क्स कालोनी निवासी पर्यावरणविद् जेपी तिवारी बताते हैं कि आजकल कोरोना काल चल रहा है। ऐसे में हाथ धोने और सफाई करने पर जोर दिया जा रहा है। इससे पानी का अधिक प्रयोग हो रहा है। सबमर्सिबल से भी पानी अधिक बर्बाद हो रहा है। घरों में लोग ओवरहेड टैंक लगा लेते हैं। भर जाने के बाद पानी यूं ही बहता रहता है। लोगों को अलार्म लगाना चाहिए। शहर में खंदारीगढ़ी, विद्यापति नगर, बेलनशाह कोठी, घंटाघर के आसपास और लाला का नगला में पानी की अधिक बर्बादी होती है। यहां पर टोंटियां लगवाकर लोगों को जागरूक करने का काम किया है। नगर पालिका की लीकेज पाइप लाइन से भी पानी की बर्बादी होती है। इसे भी रोकना जरूरी है।