किसी को भूखा नहीं सोने देता है यह संगठन
रोटी बैंक चलाकर रोजाना जरूरतमंदों को उपलब्ध कराते हैं भोजन कपड़े बर्तन व अन्य जरूरतों का रखते हैं पूरा ख्याल खिलौना बांटकर जरूरतमंद बचों के साथ साझा करते हैं खुशियां।
जासं, हाथरस : कोरोना काल हो या आम दिनों की बात, शहर का यह सामाजिक संगठन किसी को भूखे पेट सोने नहीं देता। रोजाना रोटी बैंक चलाकर जरूरतमंदों की उदरपूर्ति का इंतजाम करता है। यह संस्था है नि:स्वार्थ सेवा संस्थान, जो लाचार, वृद्ध व मजबूर लोगों के भोजन की व्यवस्था प्रतिदिन शाम को करता है। पेट भर भोजन के साथ ही लोगों को समय-समय पर कपड़े, बर्तन, चप्पल आदि भी दान करता रहा है।
संस्था के अध्यक्ष सुनील अग्रवाल ने बताया कि रोटी बैंक का सफर काफी कठिन रहा है। शुरू में लोगों को गली-गली ढूंढ़-ढूंढ़कर रोटी के पैकेट बांटे गए। पहले संस्था के पदाधिकारी अपने घर पर भोजन तैयार कराते थे। धीरे-धीरे लोगों का साथ मिला और रोटी बैंक उस मुकाम पर पहुंच गया जो आज आप सबके सामने है। कोविड-19 के काल में भी रोटी बैंक निरंतर रूप से चला, जिसमें प्रतिदिन 500 से अधिक लोगों के भोजन की व्यवस्था संस्था द्वारा की गई। उसी के साथ बसों में लौटने वाले मजदूरों को भी रास्ते में भोजन के पैकेट एवं पानी उपलब्ध कराया गया। रोटी बैंक की सफलता सिर्फ हमारी सफलता नहीं, बल्कि यह सबकी सामूहिक सफलता है, क्योंकि यह सब लोगों के साथ एवं प्यार की वजह से ही मुमकिन हो पाया है।
खिलौना बांट देते हैं खुशियां
हाल के दिनों में नि:स्वार्थ सेवा संस्थान की ओर से छोटे बच्चों को खिलौने बांटने की एक पहल शुरू की गई है, जिसके तहत वह लोगों के घरों से पुराने व टूटे हुए खिलौने जुटाकर, कुछ नए खिलौने ले जाकर गरीब बस्तियों में छोटे-छोटे बच्चों को बांटते हैं। ऐसे बच्चे जिनका बचपन खिलौनों से वंचित रह जाता है, उन खिलौने पहुंचाने की पहल संस्था ने छेड़ी है। जिस प्रकार आज तक सभी लोगों का सहयोग मिल रहा है, इस मुहिम को बहुत दूर तक ले जाने का इरादा है। ये कर रहे हैं सहयोग
अध्यक्ष सुनील अग्रवाल के अलावा सचिव नीरज गोयल, प्रवक्ता हिमांशु गौड़, कोषाध्यक्ष सीए प्रतीक अग्रवाल, संस्था के मंत्री चंद्रप्रकाश अग्रवाल, वैभव अग्रवाल, नितिन अग्रवाल, सलाहकार राहुल वाष्र्णेय, सदस्य सारांश टालीवाल, टिकू सिंह, शुभम मित्तल, सुभाष उपाध्याय, ध्रुव वाष्र्णेय।