त्योहारी सीजन में भी घंटों गुल रही शहर व देहात की बिजली

दीपावली पर निर्बाध बिजली आपूर्ति के लिए की जा रही कवायद के कारण मंगलवार को सुबह के समय घंटों बिजली गायब रही।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 27 Oct 2021 12:33 AM (IST) Updated:Wed, 27 Oct 2021 12:33 AM (IST)
त्योहारी सीजन में भी घंटों गुल रही शहर व देहात की बिजली
त्योहारी सीजन में भी घंटों गुल रही शहर व देहात की बिजली

जासं, हाथरस : दीपावली पर निर्बाध बिजली आपूर्ति के लिए की जा रही कवायद के कारण मंगलवार को सुबह के समय घंटों बिजली गायब रही। निर्धारित समय से अधिक समय तक शटडाउन लिए जाने के कारण बिजली संकट अधिक समय तक झेलना पड़ा। इस दौरान लोग पानी के लिए तरस गए।

बिजली विभाग ने दीपावली पर निर्बाध बिजली आपूर्ति देने का दावा किया है। इसके लिए सब स्टेशनों पर मरम्मत का कार्य चल रहा है। 220 केवी विद्युत उपकेंद्र मीतई पर 132 केवी मैन बसवार पर आवश्यक अनुरक्षण कार्य कराने के लिए मंगलवार को सुबह सात बजे से नौ बजे तक 220 केवी विद्युत उपकेंद्र मीतई और 132 केवी विद्युत उपकेंद्र सासनी से पोषित होने वाले 33 केवी पोषकों की विद्युत आपूर्ति पूरी तरह से बाधित रहने की सूचना बिजली विभाग ने दी थी। इस दौरान 220 केवी सब स्टेशन मीतई से जुड़े 33 केवी वाटर व‌र्क्स, चंदपा, गिजरौली, कोटा, लाखनू, कोटा रोड, लाड़पुर, डिस्ट्रिक्ट कोर्ट से जुड़े रिहायशी क्षेत्र और बाजारों में बिजली गुल रही। वहीं 132 केवी विद्युत उपकेंद्र से जुड़े 33 केवी सासनी प्रथम, सासनी द्वितीय, बालाजी कौमरी, बिलखौरा, तहसील हेड क्वार्टर, नौहाटी से जुड़े इलाकों में बिजली का संकट रहा। मीतई बिजलीघर पर 132 केवी मैन बसवार का काम सुबह नौ बजे तक खत्म होना चाहिए था लेकिन दो घंटे अधिक समय लग गए। इसके कारण बिजली का संकट अधिक देर तक झेलना पड़ा। दोपहर 11 बजे तक बिजली न होने के कारण सबमर्सिबल नहीं चल पाए। इसके कारण पानी की समस्या रही। त्योहार सिर पर, नहीं

हुआ मरम्मत कार्य

दीपावली का त्योहार नवंबर के पहले सप्ताह में है। अभी तक सब स्टेशनों की मरम्मत व जर्जर लाइनों को बदलने का काम शुरू नहीं हुआ है। रोस्टर के हिसाब से बिजली वैसे ही जनपद में नहीं मिल रही है। उधर, लोकल फाल्ट के कारण बिजली की अनावश्यक कटौती झेलनी पड़ती है। देहात की बात छोड़िए शहर का भी ऐसा ही हाल है। त्योहारी सीजन में बिजली की अतिरिक्त जरूरत पड़ती है, क्योंकि अधिक उत्पादन के लिए ऐसे में फैक्ट्रियों को भी बिजली की अधिक जरूरत पड़ रही है।

chat bot
आपका साथी