गैस एजेंसी के चौकीदार को बंधकर बनाकर लूटपाट
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बेहटागोकुल : थाना क्षेत्र के बेहटाधीरा में बुधवार की रात मुंह बांधकर बदमाशों ने गैस एजेंसी और गोदाम में लूटपाट की। बदमाशों ने चौकीदार के हाथ पैर बांधकर डाल दिया और फिर लॉकर तोड़कर उसमें रखे 40 हजार रुपये व एजेंसी पर ही खड़ी पिकअप में 70 गैस सिलिंडर भरकर फरार हो गए। गुरुवार की सुबह एजेंसी के सामने से निकले ग्रामीणों को चौकीदार के चिल्लाने की आवाज सुनाई दी। अंदर जाकर देखा तो वह बंधा पड़ा था। पुलिस मौके पर पहुंची, लूटपाट की एफआइआर दर्ज कर बदमाशों की तलाश शुरू कर दी है।
ग्राम बेहटाधीरा में राम गैस एजेंसी का भगवानदीन संचालन करते हैं। एजेंसी की रखवाली गांव निवासी सुरेंद्र करता है। सुरेंद्र ने बताया कि बुधवार की रात वह एजेंसी पर सो रहा था। पीछे की दीवार से पांच बदमाश कूद कर आए और उसके तमंचा लगा दिया। जिसके बाद उसी के गमछे से हाथ-पैर व मुंह बांध दिया। बदमाश शोरूम में गए और लॉकर तोड़कर उसमें रखे रुपये व पिकअप की चाभी उठा लाए। इसके बाद गोदाम में लगे भरे सिलिडरों को पिकअप में भरकर फरार हो गए। गुरुवार की सुबह लोग सिलिडर लेने के लिए गोदाम पर पहुंचे तो चौकीदार को बंधे देखा और एजेंसी संचालक को घटना की जानकारी दी। जिसके बाद ग्रामीणों की भीड़ एकत्र हो गई। एजेंसी संचालक भगवानदीन ने बताया कि बदमाश 40 हजार रुपये और 70 सिलिडर लूट ले गए। थाना प्रभारी राकेश आनंद पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए। एएसपी पश्चिमी और सीओ हरपालपुर ने एजेंसी के चौकीदार से घटना के संबंध में जानकारी ली। इशारे इशारे में कर रहे थे बात: चौकीदार ने बताया कि तीनों बदमाशों ने सफेद गमछे से चेहरा बांध रखा था और आपस में बात न करते हुए एक-दूसरे का इशारों में समझा रहे थे। जिससे उनकी बोली नहीं सुन पाई। छापा मारकर एक घर से बरामद किए सिलिंडर
लूटपाट की घटना के बाद पुलिस ने छापेमारी शुरू कर दी। सूत्रों के अनुसार थाना क्षेत्र के अमखेरवा गांव में गुरुवार की शाम पुलिस ने एक व्यक्ति के घर पर छापा मारकर काफी सिलिंडर बरामद किए। हालांकि पुलिस इसकी पुष्टि नहीं कर रही है, लेकिन बताते हैं कि जिसके घर में सिलिंडर बरामद हुए वह सिलिंडर बेचने का काम करता है। डकैती नहीं लूट में दर्ज हुई एफआइआर
पुलिस के भी खेल निराले हैं। सुबह चौकीदार ने पांच बदमाशों के लूटपाट की बात बताई थी, लेकिन पुलिस को जब कानून का ध्यान आया तो मामला घूम गया। पीड़ित भी पुलिस की बात बोलने लगा और तहरीर में तीन बदमाश ही रखे गए। जानकारों के अनुसार अगर पांच बदमाश रखे जाते तो पुलिस को डकैती में एफआइआर दर्ज करनी होती।