बाल श्रमिकों के चिह्नीकरण में ढिलाई पर डीएम नाखुश

जिला बाल संरक्षण समिति की बैठक में सहायक श्रमायुक्त के विरुद्ध शासन को पत्र लिखे जाने के निर्देश

By JagranEdited By: Publish:Fri, 18 Dec 2020 12:08 AM (IST) Updated:Fri, 18 Dec 2020 01:02 AM (IST)
बाल श्रमिकों के चिह्नीकरण में ढिलाई पर डीएम नाखुश
बाल श्रमिकों के चिह्नीकरण में ढिलाई पर डीएम नाखुश

हरदोई : बाल श्रमिकों के चिह्नांकन और उनके हितों के कार्यों में लापरवाही सहायक श्रमायुक्त और कार्यालय कर्मियों को भारी पड़ेगी। जिलाधिकारी ने बाल श्रमिकों को चिह्नित किए जाने में लापरवाही पर श्रम विभाग के अधिकारियों पर नाराजगी जाहिर की। जिला प्रोबेशन अधिकारी को सहायक श्रमायुक्त और स्टॉफ के विरुद्ध कार्रवाई के लिए शासन को पत्र लिखे जाने के निर्देश दिए।

जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने गुरुवार को कलेक्ट्रेट सभागार में जिला बाल संरक्षण समिति की बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि सदस्य नियमित रूप से बाल संप्रेक्षण गृह का निरीक्षण करें। अपचारियों के भोजन, साफ-सफाई व्यवस्था, शिक्षा के प्रति विशेष ध्यान देते हुए कापी-किताब उपलब्ध कराई जाएं। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सचिव सबीहा खातून ने जानकारी दी कि संप्रेक्षण गृह में बड़ी संख्या में अपचारी खुजली आदि से पीड़ित हैं। डीएम ने एसीएमओ डॉ. स्वामी दयाल को निर्देश दिए कि चिकित्सकों की टीम भेज कर बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण और जरूरी दवाएं उपलब्ध कराएं। नियमित देखभाल के लिए एक स्टॉफ नर्स की तैनाती करें।

उन्होंने जिला प्रोबेशन अधिकारी सुशील कुमार सिंह से कहा ब्लाक स्तरीय बाल संरक्षण समितियों को सक्रिय करें। बाल संरक्षण उन्मुखी कार्यक्रमों में शिक्षक, अभिभावक, आशा, एएनएम, आंगनबाड़ी को बच्चों के संरक्षण आदि की विस्तार से जानकारी दी जाए। जोखिम ग्रस्त बच्चों के संबंध में जानकारी प्राप्त की जाए। बच्चों के चुपचाप एवं सहमे रहने के कारणों की जानकारी ली जाए और मानसिक रूप से स्वस्थ बनाने के लिए अभिभावकों को जागरूक और बच्चों की समस्याओं को सुलझाने में मदद करें। बाल कल्याण समिति अध्यक्ष शिशिर गौतम से कहा उन्मुखी कार्यक्रमों की तिथिवार रूपरेखा तय करें। बाल कल्याण समिति सदस्य गिरिश कुमार द्विवेदी सहित अधिकारी मौजूद रहे।

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