विद्यालयों की दीवार पर लिखवाया जाएगा धनराशि का हिसाब किताब

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By JagranEdited By: Publish:Sun, 17 Nov 2019 10:30 PM (IST) Updated:Mon, 18 Nov 2019 06:06 AM (IST)
विद्यालयों की दीवार पर लिखवाया जाएगा धनराशि का हिसाब किताब
विद्यालयों की दीवार पर लिखवाया जाएगा धनराशि का हिसाब किताब

हरदोई: विद्यालयों में आई धनराशि और उसके उपभोग की अब आम आदमी को भी जानकारी रहेगी। वर्ष 2017-18 से 2019-20 तक विद्यालयों में विभिन्न मदों आई धनराशि और उसके उपभोग का विद्यालय की बाहरी दीवार पर पूरा लेखा-जोखा लिखवाया जाएगा। ताकि आम आदमी भी जान सके कि उनके बच्चों के लिए सरकार ने क्या क्या भेजा और कितना उन्हें मिला।

परिषदीय विद्यालयों में बाउंड्रीवाल, फर्नीचर, बिजली के पंखे, हैंडपंप, स्वेटर, ड्रेस आदि के लिए धनराशि तो आती ही है। अब तो कंपोजिट ग्रांट में लाखों रुपये आते हैं। कितनी धनराशि आई और उससे क्या काम कराया गया, यह अभिभावक तो दूर की बात कहीं विद्यालयों में तो सहायक अध्यापकों तक को पता नहीं रहता है। जिसके चलते ऐसे भी मामले आए जिसमें धनराशि का खेल किया गया, लेकिन अब ऐसा नहीं हो सकेगा। विद्यालयों की बाहरी दीवार पर धनराशि का पूरा हिसाब किताब लिखवाया जाएगा। बेसिक शिक्षा निदेशक डॉ.सर्वेंद्र विक्रम बहादुर सिंह ने जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को भेजे गए पत्र में बताया कि वर्ष 2017-18, 2018-19 और 2019-20 में विभिन्न मदों में आई धनराशि और उससे विद्यालयों में अवस्थापना एवं अन्य क्या क्या कार्य कराया गया। धनराशि के सापेक्ष कितनी धनराशि खर्च की गई, इसका किसी बाहरी ऐसी दीवार पर ब्योरा दर्ज कराया जाए जिसे आम आदमी देख सके। बेसिक शिक्षा निदेशक के आदेश से जहां अच्छा काम करने वाले अध्यापकों को खुशी है। उनका कहना है कि जो लोग उनके ऊपर आरोप लगा रहे थे, उन्हें पता चल जाएगा कि कितना रुपया आया और क्या खर्च किया गया लेकिन जो ऐसे अध्यापक हैं जोकि खेल में शामिल रहते हैं, उनके अंदर खलबली मची हुई है।

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