घर-घर जाकर होगा चूहों का एनकाउंटर

जागरण संवाददाता हापुड़ कृषि विभाग को एक बार फिर चूहों की चुनौती मिली है। इस बार ज

By JagranEdited By: Publish:Mon, 22 Feb 2021 08:09 PM (IST) Updated:Mon, 22 Feb 2021 08:09 PM (IST)
घर-घर जाकर होगा चूहों का एनकाउंटर
घर-घर जाकर होगा चूहों का एनकाउंटर

जागरण संवाददाता, हापुड़

कृषि विभाग को एक बार फिर चूहों की चुनौती मिली है। इस बार जनपद के चारों विकासखंडों में 362 से अधिक गोष्ठियां आयोजित की जाएंगी। इस बार विभाग के पास चूहों को मारने वाली दवा नहीं है। ऐसे में वह गांव गांव जाकर प्रत्येक ग्रामीण को जागरूक करेंगे कि वह चूहों को खत्म करें। यह अभियान एक मार्च से शुरू होगा और 31 मार्च तक चलेगा। उपकृषि उपनिदेशक डॉ वीबी द्विवेदी ने बताया कि चूहे जापानी इंसेफेलाइटिस (जेई) व एक्युट इंसेफेलाइटिस सिड्रोम (एईएस) के प्रमुख संवाहक हैं। इसे लेकर बीते वित्तीय वर्ष में जिले के सभी गांवों में अभियान चलाकर चूहे मारे गए थे। चालू वित्तीय वर्ष में ये गांव विशेष अभियान के तहत चयनित हैं। इन गांवों में खेतों के चूहों को मारना और शेष में आबादी के बीच रह रहे चूहों को मारने के लिए लोगों को जागरूक करना है। उन्होंने बताया कि चूहा मारने के लिए हर एक गांव के लिए एक कर्मचारी को नियुक्त कर दिया गया है। फसल की कुल क्षति का करीब 10 फीसद नुकसान चूहों द्वारा किया जाता है। चूहे भी चुनते हैं अगुवा

चूहे के एक बिल में उनका परिवार रहता है। कृषि विभाग एक बिल में रहने वाले चूहों की संख्या औसतन चार मानता है। चूहे जिस समूह में रहते हैं वहां एक सबल चूहे को अगुवा चुनते हैं। समूह के सभी चूहे उसकी बात मानते हैं। जिला कृषि रक्षा अधिकारी का कहना है कोई भी खाद्य पदार्थ सर्वप्रथम अगुवा चखता है। सभी करीब सात से आठ घंटे प्रतीक्षा करते हैं उसके बाद असर देख अन्य चूहे उसे खाते हैं। इस दौरान परिणाम ठीक नहीं रहने पर चूहे अधिक नुकसान पहुंचाते हैं और प्रजनन पर जोर देकर अपनी संख्या बढ़ाते हैं। ऐसे दिया जाता है चूहों को रसायन

मूषकनाशी रसायन देने के लिए विभाग एक रणनीति तैयार करता है। चूहों को दिए जाने वाले खाद्य पदार्थ को प्रलोभन चारा कहा जाता है। प्रथम दिन बिल में भूना भूना हुआ चना बिना रसायन के सरसों के तेल के साथ मिलाएं। दूसरे दिन भी वही प्रक्रिया अपनाएं। तीसरे दिन 10 ग्राम मूषकनाशी रसायन एक ग्राम सरसों का तेल व 48 ग्राम भुने चने को मिलाएं और फिर उसे चूहे के बिल के पास रखें।

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