बचाव का एक मात्र उपाय टीकाकरण
कोरोना संक्रमण तेजी से फैल रहा है ऐसे में लोगों को संक्रमण से बचाव का एक मात्र उपाय टीकाकरण ही है। फ्रंट लाइन वर्कर होने के कारण हम स्वास्थ्यकर्मियों को प्रथम चक्र में ही टीका लगा चुका है। तभी तो मैं संक्रमित होने के बाद भी दस दिन में ठीक हो गया।
सिद्धार्थनगर : कोरोना संक्रमण तेजी से फैल रहा है ऐसे में लोगों को संक्रमण से बचाव का एक मात्र उपाय टीकाकरण ही है। फ्रंट लाइन वर्कर होने के कारण हम स्वास्थ्यकर्मियों को प्रथम चक्र में ही टीका लगा चुका है। तभी तो मैं संक्रमित होने के बाद भी दस दिन में ठीक हो गया।
नगर स्थित पीएचसी पर तैनात डा. अश्वनी चौधरी ने बताया कि 20 अप्रैल को मैं संक्रमित हुआ साथ ही माता पिता सहित परिवार के आठ लोग भी इसकी चपेट में आ गए। अस्पताल परिसर स्थित अपने सरकारी आवास में ही रहकर अपना उपचार किया। दस दिन बाद जब फिर जांच कराई तो रिपोर्ट निगेटिव आ गई। वैक्सीन लगवाने के कारण मेरी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ गई थी, इस कारण 14 मई को पूरी तरह स्वस्थ हो कर अस्पताल में सेवारत हूं। लोगों को बिना किसी डर के आगे बढ़कर वैक्सीन लगवाना चाहिए जिससे कोरोना संक्रमण से बचा जा सके। वैक्सीन की पहली व दूसरी डोज में 42 दिन का अंतराल होता है। दूसरी डोज लगने के 15 से 20 दिनों के भीतर ही शरीर की प्रतिरोधक क्षमता तेजी से विकसित होती है। 45 की उम्र पार कर चुके सभी लोग सीएचसी या अपने निकटतम स्वास्थ्य केंद्र पर पहुंचकर टीका लगवाएं। 18 वर्ष से ऊपर के लोगों का टीकाकरण अभी कुछ जिलों में ही शुरू है। जल्द ही यहां भी शुरु हो जाएगा। जीवन की सुरक्षा के लिए जरूर लगवाएं वैक्सीन
सिद्धार्थनगर: महाराष्ट्र से फैली कोविड महामारी की दूसरी लहर अब गांवों में पूरी तरह से फैल चुकी है। ऐसे में यदि जीवन को सुरक्षित रखना है कोरोना जैसी घातक वैश्विक महामारी से बचना है तो वैक्सीन अवश्य लगवाएं।
बांसी कोतवाली के डिड़ई पुलिस चौकी पर तैनात उपनिरीक्षक बैजनाथ शुक्ल ने बताया कि पहला टीका 11 फरवरी व दूसरा टीका 16 मार्च को लगा था। इसके पहले लोगों से तरह तरह की बातों को सुन भयावह स्थिति बन जाया करती थी। लेकिन टीकाकरण के बाद से पूरी तरह स्वस्थ हूं। कभी भी मुझे किसी तरह का कोई परेशानी महसूस नहीं हुई। पुलिस विभाग में नौकरी करने के कारण क्षेत्र के हर तरह की निस्तारण के लिए भीड़ भाड़ में जाना ड्यूटी है। उच्च अधिकारियों के निर्देशानुसार पूरी जिम्मेदारी से अपने कर्तव्य का निर्वहन कर रहा हूं। और अभी तक सुरक्षित हूं। लोगों से अपील किया कि कोरोना वैक्सीन को लेकर अगर मन में किसी प्रकार की भ्रांति है, तो भूल जाइए। क्यों कि यह टीका पूरी तरह से सुरक्षित है। यह जीवन रक्षक के रूप में काम कर रहा है। लगने के बाद संक्रमण का खतरा पूरी तरह से टल जाता है। स्वयं व अपने स्वजन को टीका लगवाएं और पास पड़ोस के लोगों को भी टीका लगवाने के लिए प्रेरित करें। यदि आपको कोई व्यक्ति इससे कतराता नजर आये, तो उसे समझाएं कि जीवन का सुरक्षा चक्र बनाए रखना है टीका लगवाना है। इस महामारी से निपटने के लिए संयम व सुरक्षा ही सबसे बड़ा उपाय है। इसमें चिकित्सक की सलाह मानते हुए, उसी के अनुसार देख भाल करे। टीका लगने के बाद भी मास्क लगाएं, शारीरिक दूरी बनाए रखें बहुत आवश्यक हो तभी घर से बाहर निकलें। भूलें न जीवन है तो सब कुछ है।