छात्र संख्या के अनुसार सुविधाओं के लिए स्कूलों को मिली है धनराशि
वर्तमान में जनपद में 2149 प्राथमिक व 834 उच्च प्राथमिक विद्यालयों को लेकर कुल 2983 विद्यालय हैं। इन स्कूलों को कंपोजिट ग्रांट के तहत भेजी गई धनराशि में से दस फीसद स्वच्छता पर खर्च करनी है। इसमें स्कूल के लिए सुवधिाएं उपलब्ध कराना हैं।
गोरखपुर, जेएनएन। जनपद के परिषदीय स्कूलों को सुविधाओं से लैस करने की कवायद शुरू हो गई है। वित्तीय वर्ष-2020-21 में प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों कंपोजिट ग्रांट के अंतर्गत को धनराशि प्रेषित कर दी गई है। जिन विद्यालयों में पचास हजार या उससे अधिक की धनराशि दी गई है, उनमें शुद्ध एवं सुरक्षित पेयजल, रंगाई-पुताई, मल्टीपल हैंडवाशिंग सिस्टम व रनिंग वाटर सप्लाई, कक्षा कक्ष में वायरिंग एवं बिजली के उपकरण की व्यवस्था की जा रही है।
वर्तमान में जनपद में 2149 प्राथमिक व 834 उच्च प्राथमिक विद्यालयों को लेकर कुल 2983 विद्यालय हैं। इन स्कूलों को कंपोजिट ग्रांट के तहत भेजी गई धनराशि में से दस फीसद स्वच्छता पर खर्च करनी है। जिसमें भवनों व परिसर की साफ-सफाई, फागिंग तथा ब्लीचिंग पावडर का झिड़काव आदि कार्य शामिल हैं।
स्कूलों का निरीक्षण कर बीईओ देंगे रिपोर्ट
स्कूलों को कंपोजिट ग्रांट के तहत दी गई धनराशि का विद्यालयों द्वारा किए गए उपयोग व सामानों के क्रय की जांच खंड शिक्षाधिकारी करेंगे और रिपोर्ट बीएसए को उपलब्ध कराएंगे। जिसके आधार पर शिथिलता बरतने वाले प्रधानाध्यापकों के विरुद्ध कार्रवाई होगी।
छात्रसंख्या के अनुसार स्कूलों को मिली है धनराशि
कंपाेजिट ग्रांट के तहत प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों को धनराशि छात्र संख्या के अनुसार दी गई है। इनमें एक से पंद्रह की छात्र संख्या वाले स्कूलों को साढ़े बारह हजार, सोलह से सौ वाले स्कूलों को पच्चीस हजार, 101 से 250 वाले को पचास हजार तथा 251 से एक हजार छात्र संख्या वाले स्कूलों को पचहत्तर हजार की धनराशि दी गई है। जिले में अधिकांश स्कूलों को 25 हजार से 50 हजार रुपये तक कंपोजिट ग्रांट मिली।
जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी भूपेन्द्र नारायण सिंह का कहना है कि स्कूलों को कंपोजिट ग्रांट प्रेषित कर दी है। प्रधानाध्यापकों इसका उपयोग निर्धारित आवश्यकताओं के मद में खर्च करने के निर्देश दिए गए हैं। निरीक्षण कर इसकी जांच कराई जा रही है। गड़बड़ी मिलने पर संबंधित के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी।