Travel in trouble: स्टेशनों पर कम पड़ गईं रोडवेज की बसें, मुश्किल में सफर
गोरखपुर और कचहरी स्टेशन पर छह दिसंबर को बसों की कमी पड़ गई। लखनऊ दिल्ली कानपुर प्रयागराज वाराणसी ही नहीं देवरिया रुद्रपुर तमकुही पडरौना महराजगंज और सोनौली आदि लोकल रूटों पर भी बसों का टोटा पड़ गया। ठंड में सैकड़ों यात्री रात भर भटकते रहे।
गोरखपुर, जागरण संवाददाता। गोरखपुर और कचहरी स्टेशन पर छह दिसंबर को बसों की कमी पड़ गई। लखनऊ, दिल्ली, कानपुर, प्रयागराज, वाराणसी ही नहीं देवरिया, रुद्रपुर, तमकुही, पडरौना, महराजगंज और सोनौली आदि लोकल रूटों पर भी बसों का टोटा पड़ गया। ठंड में सैकड़ों यात्री रात भर भटकते रहे। यात्रियों को सात दिसंबर को भी दुश्वारियों का सामना करना पड़ा।
पीएम के कार्यक्रम में लगाई गई हैं 610 बसें
दरअसल, प्रधानमंत्री के कार्यक्रम में गोरखपुर परिक्षेत्र से निगम की 360 और अनुबंधित 250 सहित कुल 610 बसें लगा दी गई हैं। सभी बसें सोमवार को ही निर्धारित स्थलों के लिए रवाना हो गईं। शाम को स्टेशन परिसरों में सन्नाटा पसर गया। परिवार के साथ सिवान (बिहार) से लखनऊ के लिए बस पकडऩे पहुंचे रवि कुमार शाम चार बजे से ही खुले आसमान में बैठे थे। उनका कहना था, ट्रेन का भी कन्फर्म टिकट नहीं मिला है। काउंटर पर बैठे रोडवेज कर्मियों का कहना है कि अब आठ को बस मिलेगी। समझ में नहीं आ रहा, क्या करें।
ठंड में सिकुडते रहे यात्री
चोरीचौरा के मुन्ना लखीमपुर खीरी जाने के लिए परेशान थे। वह भी शाम पांच बजे से ही भटक रहे थे। रवि और मुन्ना ही नहीं सैकड़ों यात्री बसों के इंतजार में ठंड में ठिठुर रहे थे। हालांकि, कुछ यात्री प्राइवेट बसों से अधिक किराया देकर अपनी यात्रा पूरी की, लेकिन वह भी कम पड़ गईं। सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक एके मिश्रा के अनुसार बसों की कमी के चलते यात्रियों को दिक्कतें आई हैं। बसों की व्यवस्था कराई जा रही है। बुधवार से स्थिति सामान्य हो जाएगी।
आज शहर में नहीं चलेंगे आटो
प्रधानमंत्री के आगमन पर सात दिसंबर को शहर में आटो नहीं चलेंगे। यह निर्णय गोरक्ष पूर्वांचल आटो आपरेटर्स एसोसिएशन ने लिया है। पदाधिकारियों ने सोमवार को अध्यक्ष जीके द्विवेदी के नेतृत्व में विभिन्न चौराहों पर चालकों से संपर्क कर आटो का संचालन नहीं करने की अपील की। उन्होंने प्रधानमंत्री के कार्यक्रम को सफल बनाने का आह्वान भी किया। इस मौके पर सुशील मिश्रा, शत्रुघ्न मिश्रा, पन्ने यादव, धीरज श्रीवास्तव, धनंजय मल्ल और कमल श्रेष्ठ आदि पदाधिकारी मौजूद थे।