Indian Railways: टिकट चेकिंग स्टाफ को भी रनिंग रूम में मिलेगी खानपान की सुविधा
रेलवे के टीटीई व टीटीआइ को भी अब स्टेशनों पर रनिंग रूम की सभी सुविधाएं मिलेगी। रनिंग रूम में ठहरने के साथ ही रसोइयों की भी सेवाएं मिलेंगी। वे भी लोको पायलटों और गार्डों की तरह मनपसंद व गुणवत्तायुक्त भोजन कर सकेंगे।
गोरखपुर, जेएनएन। रेलवे के टिकट चेकिंग स्टाफ (टीटीई व टीटीआइ) को भी स्टेशनों पर रनिंग रूम की सभी सुविधाएं मिलेगी। रनिंग रूम में ठहरने के साथ ही रसोइयों की भी सेवाएं मिलेंगी। वे भी लोको पायलटों और गार्डों की तरह मनपसंद व गुणवत्तायुक्त भोजन कर सकेंगे। कोरोना काल में टिकट चेकिंग स्टाफ को भी रनिंग रूम में अनिवार्य रूप से नाश्ता और भोजन उपलब्ध कराने के लिए रेलवे बोर्ड ने दिशा-निर्देश जारी कर दिया है। ताकि, फ्रंट लाइन के इन कर्मचारियों को भी समय से पौष्टिक नाश्ता व भोजन मिल सके और वे पूरी तरह सुरक्षित रह सकें।
आइआरटीसीएसओ ने की निर्धारित कीमत पर नाश्ता व भोजन उपलब्ध कराने की मांग
इंडियन रेलवे टिकट चेकिंग स्टाफ आर्गनाइजेशन (आइआरटीसीएसओ) ने रेलवे बोर्ड के इस निर्णय का स्वागत किया है। साथ ही लोको पायलटों और गार्ड की तरह बोर्ड की तरफ से निर्धारित दस रुपये कीमत पर नाश्ता और भोजन उपलब्ध कराने की मांग भी कर डाली है। आर्गनाइजेशन के संरक्षक टीएन पांडेय कहते हैं गोरखपुर और लखनऊ जंक्शन स्थित रनिंग रूम में बाजार के दर पर नाश्ता और भोजन मिल रहा है।
छपरा और सीतापुर आदि स्टेशनों पर तो आदेश के बाद भी नाश्ता और भोजन की व्यवस्था शुरू नहीं हो पाई है। जबकि, टिकट चेकिंग स्टाफ भी रनिंग स्टाफ की तरह ही कार्य करता है। एनई रेलवे मजदूर यूनियन (नरमू) के महामंत्री केएल गुप्त के अनुसार आल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन (एआइआरएफ) के महासचिव शिव गोपाल मिश्र रेलवे बोर्ड के समक्ष टिकट चेकिंग स्टाफ को भी रनिंग स्टाफ की तरह नाश्ता और भोजन उपलब्ध कराने का मुद्दा उठाते रहे हैं।
लोको पायलटों और गार्डों की तरह मिलेंगी रसाेइयों की सेवाएं, मिलेगा गरमागरम भोजन
दरअसल, रनिंग स्टाफ की श्रेणी में लोको पायलट और गार्ड ही आते हैं। रेलवे बोर्ड टिकट चेकिंग स्टाफ को रनिंग स्टाफ नहीं मानता है। ऐसे में टिकट चेकिंग स्टाफ कंबाइंड रनिंग रूम या रेस्ट रूम में ठहरते हैं। खानपान की व्यवस्था उन्हें खुद करनी पड़ती है। हालांकि, पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन टिकट चेकिंग स्टाफ के लिए अलग से रनिंग रूम की व्यवस्था करनी शुरू कर दी है। गोरखपुर और सीतापुर में आधुनिक रनिंग रूम बनाए गए हैं। गोरखपुर और लखनऊ जंक्शन स्थित रनिंग रूम को निजी हाथों में सौंप दिया गया है।
वाराणसी सिटी में रनिंग रूम नहीं, प्लेटफार्म पर गुजरती है रात
पूर्वोत्तर रेलवे के वाराणसी मंडल स्थित वाराणसी सिटी स्टेशन पर तो रनिंग रूम ही नहीं है। टिकट चेकिंग स्टाफ प्लेटफार्म पर ही रात गुजारने को मजबूर हैं। आइआरटीसीएसओ और नरमू ने रेलवे प्रशासन से वाराणसी सिटी में रनिंग रूम की व्यवस्था सुनिश्चित कराने की मांग की है।