संतकबीर नगर में सड़क पर भाकियू के जिला उपाध्‍यक्ष का शव रखकर डेढ़ घंटे तक किया रास्‍ता जाम

भाकियू के कार्यकर्ताओं परिवार के सदस्यों व गांव के लोगों ने भाकियू जिला उपाध्यक्ष का शव रविवार दोपहर के समय जिला अस्पताल के मुख्य गेट के पास रखकर सड़क जाम कर दिया। हत्यारों की तत्काल गिरफ्तारी करने सहित अन्य मांगों को लेकर नारेबाजी करते रहे।

By Rahul SrivastavaEdited By: Publish:Sun, 25 Jul 2021 08:10 PM (IST) Updated:Sun, 25 Jul 2021 08:10 PM (IST)
संतकबीर नगर में सड़क पर भाकियू के जिला उपाध्‍यक्ष का शव रखकर डेढ़ घंटे तक किया रास्‍ता जाम
पोस्टमार्टम हाउस पर रोते-बिलखते लक्ष्‍मण पांडेय के स्वजन। जागरण

गोरखपुर, जागरण संवाददाता : भाकियू के कार्यकर्ताओं, परिवार के सदस्यों व गांव के लोगों ने भाकियू जिला उपाध्यक्ष का शव रविवार दोपहर के समय जिला अस्पताल के मुख्य गेट के पास रखकर सड़क जाम कर दिया। हत्यारों की तत्काल गिरफ्तारी करने सहित अन्य मांगों को लेकर नारेबाजी करते रहे। एडीएम व एएसपी के उचित कार्रवाई के आश्वासन पर करीब डेढ़ घंटे बाद खलीलाबाद-मेंहदावल राजकीय मार्ग पर आवागमन बहाल हुआ।

चुनावी व भूमि र‍ंजिश में लक्ष्‍मण पांडेय की हत्‍या

बखिरा थाना क्षेत्र के बौरब्यास गांव के निवासी व भाकियू के जिला उपाध्यक्ष लक्ष्मण पांडेय की शनिवार देर शाम चुनावी व भूमि की रंजिश को लेकर बौरब्यास चौराहे पर निर्मम हत्या कर दी गई थीं। जिला अस्पताल स्थित पोस्टमार्टम हाउस में सीओ अंशुमान मिश्र और कोतवाली प्रभारी मनोज कुमार पांडेय काफी संख्या में पुलिस बल के साथ मौजूद रहे। पोस्टमार्टम होने के बाद भाकियू कार्यकर्ताओं, परिवार के सदस्यों, गांव के लोगों ने दोपहर के करीब साढ़े बारह बजे शव को जिला अस्पताल के मुख्य गेट के पास बीच सड़क पर रखकर सड़क जाम कर दिया। यह स्थिति दोपहर के करीब दो बजे तक यहां पर रही।

मेंहदावल राजकीय मार्ग पर ठप रहा डेढ़ घंटे तक आवागमन

खलीलाबाद-मेंहदावल राजकीय मार्ग पर डेढ़ घंटे तक आवागमन ठप रहा। भाकियू कार्यकर्ता डीएम और एसपी को मौके पर बुलाने की मांग करने लगे। सीओ और कोतवाल से वार्ता के बाद भी जब लोग नहीं माने तब एडीएम मनोज कुमार सिंह और एएसपी संतोष कुमार सिंह मौके पर पहुंचकर उनकी बातें सुनीं। भाकियू के जिलाध्यक्ष जनार्दन मिश्र ने हत्या में संलिप्त आरोपितों को तत्काल गिरफ्तार करके गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज करने, मृतक की पत्नी मंजू पांडेय को एक करोड़ रुपये मुआवजा देने व पीड़‍ित परिवार सुरक्षा उपलब्ध कराने की मांग की। तीन सूत्रीय मांगों का ज्ञापन इन अधिकारियों को संयुक्त रूप से सौंपा है। इन अधिकारियों के उचित कार्रवाई किए जाने के आश्वासन पर लोग शव को यहां से लेकर अंतिम संस्कार के लिए गए।

पोस्टमार्टम हाउस पर परिवार के सदस्यों ने किया हंगामा

जिला अस्पताल स्थित पोस्टमार्टम हाउस पर मौजूद परिवार के सदस्यों ने पुलिस पर कई गंभीर आरोप लगाए। इसको लेकर खूब हंगामा भी किया। मृतक की बेटी सत्या पांडेय ने कहा कि उनके पिता किसी की मदद के लिए घर से गए थे, लेकिन वह घर नहीं लौटे। बीच में ही हत्यारों ने उनकी निर्मम हत्या कर दी। बखिरा पुलिस हत्यारों को संरक्षण दे रही है।

लक्ष्मण को मारता रहा अजय, तमाशा देखते रहे लोग

बौर ब्यास चौराहे पर रहने वाले लोगों ने बताया कि लक्ष्मण को अजय राय मारता रहा। उसने हत्या करने के लिए मोटरसाइकिल के स्पाकिट से बने एक कांटेदार हथियार का प्रयोग किया। हत्या के बाद वह हथियार को हवा में लहराते हुए चौराहे की सभी दुकानें बंद करा दी। गवाही देने पर लोगों को अंजाम भुगतने की धमकी दी। इस बीच वह दो-तीन और लोगों से उलझा लेकिन लोग अपनी जान बचाकर भाग निकले। उसके जाने के बाद भी बहुत देर तक लोग अपने घरों से बाहर नहीं निकले।

बेटी की तहरीर पर पांच के खिलाफ हत्या का मुकदमा

मृतक लक्ष्मण की बेटी सत्या पांडेय की तहरीर पर बखिरा पुलिस ने बौरव्यास निवासी अजय राय, सोनू राय, जोखन राय, माले राय एवं सतेंद्र राय के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया है। इसमें से अधिकांश लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। बाकी आरोपितों की तलाश में बखिरा, धर्मसिंहवा, बेलहर, मेंहदावल, दुधारा थाने की पुलिस के अलावा स्वाट व क्राइम ब्रांच की टीम लगी हुई है।

पुलिस छावनी में तब्दील हुआ बौर व्यास गांव

भाकियू के जिला उपाध्यक्ष लक्ष्मण पांडेय गांव के लोगों के दुख-दर्द में शामिल होते थे। उनकी समस्याओं का निराकरण करते थे। इसके कारण गांव में लोग उनका बहुत सम्मान करते थे। उनकी हत्या से गांव में आक्रोश फैल गया। एसपी के निर्देश पर गांव में काफी संख्या में पुलिस कर्मियों की तैनाती कर दी है। पूरा गांव पुलिस छावनी में तब्दील हो गया है।

बच्चों के शिक्षा व भरण-पोषण की चिंता

लक्ष्मण की चार बेटियां व एक बेटा है। पत्नी मंजू देवी को बेटियों व बेटे की शिक्षा व उनके भरण-पोषण की चिंता सता रही है। सारी जिम्मेदारी अब उन पर आ गई है।

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