व्यापार की प्रतिद्वंदिता को लेकर हुई थी मुखबिरी, मामले के पर्दाफाश से खुश हैं पीड़ित के स्वजन Gorakhpur News
निचलौल के सराफा व्यापारियों से गोरखपुर में हुई लूट मामले के तार सराफा कारोबार में प्रतिद्वंदिता से लेकर जुड़ रहें हैं। इस मामले में नगर पंचायत निचलौल मार्केट के एक कारोबारी के दो बेटे अभी भी फरार बताए जा रहे हैं।
गोरखपुर, जेएनएन : महराजगंज जिले के निचलौल के सराफा व्यापारियों से गोरखपुर में हुई लूट मामले के तार सराफा कारोबार में प्रतिद्वंदिता से लेकर जुड़ रहें हैं। इस मामले में नगर पंचायत निचलौल मार्केट के एक कारोबारी के दो बेटे अभी भी फरार बताए जा रहे हैं, जबकि उसके पिता को गोरखपुर की पुलिस पूछताछ के लिए अपने साथ ले गई। मुखबिरी के आरोप में पकड़े गए दुर्गेश अग्रहरि की जहां तक बात है, वह नगर में पीड़ित व्यापारी दीपक वर्मा के अलावा फरार चल रहे व्यापारियों के काफी करीब था। बुधवार सुबह जैसे ही दीपक व रामू नकदी व सोना लेकर घर से निकले, इसकी सूचना प्रतिद्वंदी व्यापारियों ने दुर्गेश को दी थी। फिर वह सूचना ठूठीबारी के ईटहिया निवासी शैलेश यादव की मदद से बस्ती के लुटेरे दारोगा तक पहुंचा दी गई। घटना का पर्दाफाश करते हुए गोरखपुर पुलिस ने महराजगंज के निचलौल निवासी दुर्गेश अग्रहरि व शैलेश यादव को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। बाकी निचलौल के दोनों व्यापारियों के पुत्रों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस टीम लगी हुई है।
दारोगा को दी गई थी तस्करी के सोने की सूचना
निचलौल निवासी पीड़ित सराफा कारोबारी दीपक वर्मा ने बताया कि बस स्टेशन पर जब उनको पुलिस ने रोका तो उन पर सोने की तस्करी का आरोप लगाते हुए उतार लिया गया। उन्होंने भी पुलिस के इस जांच में सहयोग करने के इरादे से विरोध नहीं किया। हालांकि नकदी व समस्त सोने का पेपर उनके पास मौजूद थे। इसके बाद उनके साथ घटना हो गई।
कई हमनाम बने रहे पुलिस जांच के केंद्र
बुधवार को लूट के बाद गुुरुवार सुबह जांच में आगे बढ़ी गोरखपुर पुलिस की जांच में शैलेश नाम के चार तो दुर्गेश नाम के तीन लोग पुलिस जांच के केंद्र बने रहे। पुलिस ने उन्हें हिरासत में भी लिया था। लेकिन आरोपित दुर्गेश व शैलेश की पहचान होने के बाद पुलिस ने बाकी सभी को छोड़ दिया है।