CM योगी आदित्यनाथ ने पूछा, हत्या का पर्दाफाश क्यों नहीं हुआ ? एक्शन में आई गोरखपुर पुलिस
गोरखपुर में व्यापारी की गोली मारकर हत्या किए जाने की घटना का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संज्ञान लिया है। शनिवार को मेडिकल कालेज में समीक्षा बैठक शामिल होने पहुंचे एडीजी व एसएसपी को देखते ही पूछ पड़े किसकी हत्या हुई है अब तक पर्दाफाश क्यों नहीं हुआ।
गोरखपुर, जेएनएन। शाहपुर में शुक्रवार की रात व्यापारी वेद प्रकाश की गोली मारकर हत्या किए जाने की घटना का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संज्ञान लिया है। शनिवार को मेडिकल कालेज में समीक्षा बैठक शामिल होने पहुंचे एडीजी व एसएसपी को देखते ही पूछ पड़े किसकी हत्या हुई है, अब तक पर्दाफाश क्यों नहीं हुआ। अधिकारियों ने घटना की जानकारी देते हुए कहा कि जल्द ही पर्दाफाश कर लिया जाएगा।
एसएसपी ने मातहतों से कहा घटना होने पर अब होगी कार्रवाई
मुख्यमंत्री के लखनऊ रवाना होने के बाद पुलिस अधिकारी एक्शन में आ गए। दोपहर में तीन बजे वायरलेस सेट पर आ गए एसएसपी दिनेश कुमार पी ने सभी पुलिस अधिकारियों व थानेदारों के साथ मीटिंग की। मातहतों से तल्ख लहजे में उन्होंने कहा कि रात में प्रभावी गश्त और चेकिंग में लापरवाही के चलते ही गुलरिहा में बृजेश सिंह की हत्या के एक हफ्ते बाद ही शाहपुर में वारदात को अंजाम देने के बाद बदमाश आसानी से निकल गए। कई थानेदार व चौकी प्रभारी रात को गश्त पर नहीं निकल रहे, इस प्रवृत्ति पर अंकुश लगाएं।
अब लापरवाही मिलने पर कार्रवाई होगी। थानेदार को हर हाल में अपने-अपने क्षेत्र में अपराध रोकना होगा। एसएसपी ने एसपी सिटी, एसपी नार्थ के साथ ही सभी सीओ की जिम्मेदारी तय करते हुए कहा कि अधिकारियों के आदेश का सख्ती से पालन कराने के साथ ही क्षेत्र में क्या हाे रहा है इसकी खबर भी रखें।
नियुक्ति के नाम पर धनउगाही का आरोप, सीएम के आदेश पर मुकदमा दर्ज
गोरखनाथ मंदिर में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पास नियुक्ति के नाम पर धनउगाही का आरोप सामने आया। मुख्यमंत्री के आदेश पर योग प्रशिक्षक व उसके भाई के खिलाफ जालसाजी व धमकी देने का केस दर्ज कर गोरखनाथ पुलिस ने जांच शुरू कर दी है।
गोरखनाथ के नथमलपुर निवासी डा अनीता चौरसिया शनिवार को शिकायती पत्र लेकर गोरखनाथ मंदिर पहुंची। मुख्यमंत्री कार्यालय में प्रार्थना पत्र देकर बताया कि सिद्धार्थ विश्वविद्यालय, कपिलवस्तु सिद्धार्थनगर में उन्होंने असिस्टेंट प्रोफेसर पद के लिए आवेदन किया था। योगाभ्यास के दौरान उनसे परिचित हुए योग प्रशिक्षक चन्द्रजीत यादव ने अपनी ऊंची रसूख का हवाला देकर बताया कि उसके भाई राजशेखर यादव की सिद्धार्थ विश्वविद्यालय में अच्छी पकड़ है।
नौकरी दिलवाने का झांसा देकर उसने पांच लाख रुपये ले लिए। जब साक्षात्कार परिणाम आया तो चयनितों में उनका नाम नहीं था। रुपये मांगने पर दोनों भाई धमकी दे रहे हैं। इस शिकायत का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने त्वरित संज्ञान लिया और मुकदमा दर्ज कर अग्रिम कार्रवाई का आदेश दिया।इप्रभारी निरीक्षक गोरखनाथ रामाज्ञा सिंह ने बताया कि जटेपुर निवासी दोनों आरोपितों के खिलाफ जालसाजी कर रुपये हड़पने और धमकी देने का केस दर्ज कर जांच की जा रही है।