गूगल बताएगा धान क्रय केंद्रों की लोकेशन

कुशीनगर में किसानों की सुविधा के लिए धान क्रय केंद्रों का जीयो टैगिंग कराया जाएगा इससे किसानों को क्रय केंद्रों तक पहुंचने में सुविधा तो हो ही जाएगी अब उन्हें अपना टोकन लेने में भी सुविधा होगी इस बार एक नवंबर से शुरू हो रही धान खरीद के लिए 45 केंद्र बनाए गए हैं।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 26 Oct 2021 05:05 PM (IST) Updated:Tue, 26 Oct 2021 05:05 PM (IST)
गूगल बताएगा धान क्रय केंद्रों की लोकेशन
गूगल बताएगा धान क्रय केंद्रों की लोकेशन

कुशीनगर : किसानों को धान क्रय केंद्रों का रास्ता ढूंढ़ने में अब परेशानी नहीं होगी। गूगल एप के जरिए उन्हें केंद्रों की लोकेशन आसानी से पता चल जाएगी। शासन ने केंद्रों की जियो टैगिग कराने का निर्देश दिया है। इससे न सिर्फ किसानों को राहत मिलेगी, बल्कि पारदर्शिता भी आएगी। एक नवंबर से धान खरीद की प्रक्रिया शुरू होगी। जिले में 45 क्रय केंद्र खोलने की अनुमति मिल गई है। विपणन शाखा, एफसीआइ व पीसीएफ के क्रय केंद्र खोले जाएंगे।

धान खरीद प्रणाली को हाईटेक व पारदर्शी बनाने के लिए तमाम प्रयास किए जा रहे हैं। इसी के तहत क्रय केंद्रों की जियो टैगिग कराने का निर्णय सरकार ने लिया है। केंद्रों की भौगोलिक स्थिति का पूरा विवरण आनलाइन किया जाएगा। किसान गूगल से क्रय केंद्रों की लोकेशन प्राप्त कर सकते हैं। साथ ही आनलाइन टोकन भी निकाल सकते हैं। निर्धारित तिथि पर केंद्र पर जाकर अपनी उपज बेच सकते हैं। इस बार 78 लाख टन अनाज खरीदने का लक्ष्य रखा गया है।

केंद्र का रोड मैप भी दिखेगा

गूगल किसानों को न सिर्फ केंद्रों की लोकेशन बताएगा, बल्कि पूरा रोड मैप भी दिखाएगा। इससे किसानों को अनाज लेकर केंद्रों तक पहुंचने में सहूलियत होगी। दरअसल, गांव-गिरांव में खुले क्रय केंद्रों के बारे में अधिकांश लोगों को जानकारी नहीं होती है। इसकी वजह से परेशानी का सामना करना पड़ता है। जीपीएस से लैस होंगी ई-पास मशीनें

किसानों व बिचौलियों से सुविधा शुल्क लेकर धान खरीद में मानक की अनदेखी करने वाले केंद्र प्रभारियों की इस बार खैर नहीं। सभी केंद्रों पर ई-पास मशीन से अनाज खरीदा जाएगा। मशीनें जीपीएस से लैस होंगी। ऐसे में किसानों की उपज हर हाल में क्रय केंद्रों पर ही खरीदनी होगी। यदि मशीन केंद्र की लोकेशन की बजाए दूसरे स्थान पर गई तो तत्काल उच्चाधिकारियों को जानकारी मिल जाएगी। ऐसे में केंद्र प्रभारी पर कार्रवाई तय है।

डिप्टी आरएमओ विनय कुमार सिंह ने बताया कि शासन के निर्देशानुसार धान क्रय केंद्रों की जियो टैगिग कराई जाएगी। इससे केंद्रों की लोकेशन आनलाइन हो जाएगी। गूगल के जरिये किसान लोकेशन की जानकारी कर सकते हैं। वे पंजीकरण कराने के बाद जिले में किसी भी क्रय केंद्र का आनलाइन टोकन निकालकर अपनी उपज बेच सकते हैं।

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