गोरखपुर में बोले सीएम योगी आद‍ित्‍यनाथ, सबकुछ सरकार के भरोसे नहीं होता, लोग भी सामने आएं

Mahant Digvijaynaths death anniversary मुख्‍यमंत्री योगी आद‍ित्‍यनाथ ने कहा क‍ि सब कुछ सरकार के भरोसे नही होता लोगों को भी आगे आना चाहिए। जितनी यूपी की आबादी है उससे अधिक लोग प्रयागराज कुंभ में आये थे। सभी के सहयोग से प्रदेश का व‍िकास होगा।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Publish:Fri, 24 Sep 2021 01:46 PM (IST) Updated:Sat, 25 Sep 2021 08:24 AM (IST)
गोरखपुर में बोले सीएम योगी आद‍ित्‍यनाथ, सबकुछ सरकार के भरोसे नहीं होता, लोग भी सामने आएं
कार्यक्रम को संबोध‍ित करते सीएम योगी आद‍ित्‍यनाथ। - जागरण

गोरखपुर, जागरण संवाददाता। CM Yogi Adityanath in Gorakhpur: मुख्‍यमंत्री योगी आद‍ित्‍यनाथ ने कहा क‍ि सब कुछ सरकार के भरोसे नही होता, लोगों को भी आगे आना चाहिए। जितनी यूपी की आबादी है उससे अधिक लोग प्रयागराज कुंभ में आये थे। पहले लोग यूपी का नाम सुनकर किसी को कमरा नही देते थे पर आज लोग यूपी का नाम सुनकर सहर्ष तैयार होते हैं क्योंकि उनको लगता है कि आनेवाला राम, कृष्ण और संतों का प्रतिनिधि है।

ब्रह्मलीन महंत दिग्विजयनाथ की 52वीं और महंत अवेद्यनाथ की सातवीं पुण्यतिथि पर आयोजित समारोह के क्रम में गोरखनाथ मंद‍िर में शुक्रवार को आयोज‍ित महंत अवेद्यनाथ की श्रद्धांज‍ल‍ि सभा में सीएम ने कहा क‍ि गुरु अवेद्यनाथ की आज 7वीं पुण्यतिथि है। श्राद्ध पक्ष में ही दोनो पूर्व महंतों ने अपना शरीर छोड़ा था। जिसने 50 साल पहले इस पीठ को देखा होगा उसे आज परीवर्तन दिखाई दिया होगा। 1932 में महाराणा शिक्षा परिषद की स्थापना हुई और उसके बाद लगातार अलग अलग विषयों के विद्यालय की स्थापना हुई।

अयोध्‍या में लगता है क‍ि गोरखपुर में हूं

उन्‍होंने कहा क‍ि 1949 में अयोध्या में रामलला का प्रकटीकरण हुआ था और इसमें मौजूद लोगों को महंत दिग्विजय नाथ जी का संरक्षण प्राप्त था। मैं जब अयोध्या जाता हूँ तो पता नही चलता है की मैं गोरखपुर में हूं या अयोध्या में। वहां पर सब अपने लगते हैं। योग हजारों वर्षों की विरासत है। कोरोना के दौरान आयुष काढ़ा और आयुष कवच का लोगों ने खूब प्रयोग किया। अमेरिका में भी तुलसी का खूब प्रचलन कोरोना काल मे हुआ।

देश के ल‍िए शूल था अनुच्‍छेद 370

गृह मंत्री अमित शाह कश्मीर से अनुच्‍छेद 370 को हटाया क्योंकि यह देश के लिये शूल था। दुनिया का बौद्ध सिख हिंदू संकट में भारत को याद करता है और भारत उनको सहर्ष स्वीकार करता हैं। पहले की सरकारों में आतंकवादियों के मुकदमे वापस होते थे उनका महिमामंडन होता था पर आज ऐसा कोई नही कर पा रहा है। अच्छे प्रयास को प्रोत्साहित और गलत प्रयास को हतोत्साहित किया जाना चाहिए। पीठ ने हमेशा भारत के हित की बात करने वाले का समर्थन किया है।

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