डीएम से बोले भाजपा विधायक- कहीं मैैं भी धरने पर न बैठ जाऊं, वित्त राज्यमंत्री बोले- सबकुछ ठीक है
महराजगंज जिलेी के भाजपा विधायक बजरंग बहादुर िसिंह ने केंद्रीय िवित्तर राज्यमंत्री के सामने ही जिलाधिकारी को अपने क्षेत्र के एक गांव को मैरूंड घोषित करने की मांग की। ऐसा न करने पर उन्होने धरने पर बैठने की चेतावनी दे डाली।
गोरखपुर, जागरणस संवाददाता। महराजगंज जिले के भाजपा विधायक बजरंग बहादुर सिंह ने फरेंदा विधानसभा क्षेत्र के गांव खालिकगढ़ को मैरूंड गांव घोषित करने की मांग को लेकर धरने पर बैठने की चेतावनी दी है। उन्होंने डीएम से कहा कि बाढ़ पीडि़तों को राहत पहुंचाइए। शासन की योजनाओं को लाभ दिलाइए। बाढ़ पीडि़तों को राहत पहुंचाने की मांग लेकर विपक्षी धरने पर बैठे, इससे पहले धरने पर बैठना मेरी मजबूरी होगी।
केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री के सामने खालिकगढ गांव को मैरूंड घोषित करने की मांग की
रविवार को केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री पंकज चौधरी ने कलेक्टे्रट सभागार में प्रदेश सरकार के साढ़े चार साल की उपलब्धियों पर प्रेस काफ्रेंस की। कांफ्रेंस के बाद जनप्रतिनिधि और अधिकारीगण चाय पर औपचारिक बातचीत कर रहे थे। इसी दौरान विधायक बजरंग बहादुर सिंह ने शिकायत भरे लहजे में डीएम डा. उज्ज्वल कुमार से खालिकगढ़ को मैरूंड घोषित करने के लिए कहा।
रोहिन नदी की बाढ से बुरी तरह से प्रभावित हुआ था गांव
बोले- अभी तक उसे मैरूंड नहीं घोषित किया गया है, जबकि रोहिन नदी में आई बाढ़ के चलते गांव बाढ़ से प्रभावित है। वहां के लोगों को राहत की जरूरत है। इसकी जांच करा लें। इस मुद्दे को लेकर विपक्ष धरने पर बैठ सकता है। कहीं ऐसा न हो विपक्ष के पहले मुझे ही धरने पर बैठना पड़े। डीएम ने विधायक को भरोसा दिलाया कि बाढ़ पीडि़तों तक राहत जरूर पहुंचेगी।
बाद में अपनी बात से मुकरे विधायक
धरने पर बैठने की चेतावनी देने के संबंध में विधायक बजरंग बहादुर सिंह से बाद में बात की गई तो वह अपनी बात से मुकर गए। उन्होंने कहा कि मैैंने यह नहीं कहा कि धरने पर बैठ जाऊंगा। ना ही मेरी मंशा ऐसी है। मैैंने जिलाधिकारी से बाढ़ प्रभावित लोगो तक अधिकाधिक राहत पहुंचाने और शासन की योजनाओं का लाभ दिलाने के लिए कहा है।
केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री बोले विधायक ने जनहित में आवाज उठाने की बात कही
इस मसले पर केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री पंकज चौधरी का कहना है कि विधायक ने धरने पर बैठने की बात नहीं कही है। उनका कहना था कि यदि इस मुद्दे को लेकर विपक्ष धरने पर बैठा तो जनहित में धरने पर बैठना उनकी राजनीतिक मजबूरी होगी।