अमहट घाट हुआ 11 फीट के दीये से रोशन
सुंदरकांड पाठ के साथ ही चित्र कला व डांडिया प्रतियोगिता हुई आकर्षण का केंद्र दीये के साथ सेल्फी लेने की लगी रही होड़
जासं,बस्ती: संस्कार भारती, बस्ती इकाई, बस्ती विकास समिति व आर्ट आफ बस्ती के संयुक्त तत्वावधान में रविवार को अमहट घाट पर दीपोत्सव का आयोजन हुआ। मुख्य अतिथि सदर विधायक दयाराम चौधरी एवं नगर पालिका अध्यक्षा रूपम मिश्रा ने 11 फीट के दीये को प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत की।
राज्य ललित कला अकादमी सदस्य एवं संस्कार भारती गोरक्षप्रान्त के प्रांतीय लोक कला संयोजक डा. नवीन श्रीवास्तव के परिकल्पना एवं संयोजन में बने 11 फीट के दीये पर भगवान श्री रामचन्द्र एवं भरत मिलाप के चित्र को प्रदर्शित किया गया है। श्रीरामचरित मानस सुंदर कांड पाठ के साथ ही चित्र कला व डांडिया प्रतियोगिता भी आयोजित की गई। इस मौके पर लोगों ने खूब सेल्फी ली।
मुख्य अतिथि ने कहा कि ऐसे आयोजन हमारे जनपद एवं प्रदेश के लिए गौरवशाली है। दीप निर्माण में राहुल श्रीवास्तव, कथक गुरु मास्टर शिव, वरिष्ठ रंगकर्मी बालमुकुंद आकाश, वेंकटरमन भटनागर, कुंवर श्रीवास्तव, शुभम गुप्ता, राजमणि चौधरी का सहयोग रहा।
सत्या मिश्रा, डा. कैप्टन पुष्पलता मिश्रा, विकास श्रीवास्तव, पूर्णिमा तिवारी, ओपी पांडेय, ललिता श्रीवास्तव, स्नेह लता मिश्रा, उर्मिला पांडेय, अदिति तिवारी, डॉ रंजना अग्रहरि,डा कैप्टन एससी मिश्र, डा केके त्रिपाठी, संतोष सिंह, डा वीरेन्द्र त्रिपाठी, नीतू श्रीवास्तव, अजय श्रीवास्तव, रेखा चित्रगुप्त, संध्या दीक्षित, राजेश चित्रगुप्त, सौरभ सिन्हा, दुर्गेश श्रीवास्तव, भक्तिनारायन श्रीवास्तव मौजूद रहे। रंजना अग्रहरि ने प्रस्तुत किया संस्कार भारती का ध्येयगीत बस्ती : कला और साहित्य को समर्पित अंतरराष्ट्रीय संस्था संस्कार भारती की बस्ती इकाई ने भव्यदीप महोत्सव 2021 संस्कार भारती का ध्येय गीत डा रंजना अग्रहरि द्वारा गाकर आरम्भ किया गया। दीप महोत्सव विगत सत्रह वर्षों से संस्कार भारती बस्ती अमहट घाट पर शिव मंदिर पर सुंदर काण्ड पाठ,रंगोली प्रतियोगिता, दीप प्रज्जवलन करके मनाती आ रही है। संस्कार भारती यह कार्यक्रम बस्ती जनपदवासियों के लिए प्रेरणा का स्त्रोत रहा है।
संस्कार भरती का परिचय संरक्षक डा कैप्टन पुष्पलता मिश्रा ने दिया । संस्कार भारती विश्व में एकमात्र ऐसा संगठन है, जो संस्कार एवं संस्कृति की न केवल बात करती है बल्कि उसका संरक्षण एवं संवर्धन भी करती है। संस्कार भारती के प्रमुख उत्सवों में दीप महोत्सव एक है। इसके अलावा अपनी लोक कलाओं के सरंक्षण एवं संवर्धन के लिये कजरी उत्सव मनाया जाता है। सभी उत्सवों का एक मात्र लक्ष्य अपनी युवा पीढ़ी को संस्कारित करना तथा अपनी संस्कृति से परिचय कराना वर्तमान समय की आवश्यकता है।