बकाया के कारण नगर निगम की गाडि़यों को नहीं मिला तेल, सभी वाहन खड़े

नगर निगम प्रशासन शहर के चार पेट्रोल पंप से वाहनों में तेल भराता है। तेल का भुगतान बाद में किया जाता है। मोहद्दीपुर स्थिति पेट्रोल पंप का 43 लाख रुपये बकाया हो गया है। पंप मालिक ने अचानक वाहनों में तेल भरने से मना कर दिया।

By Satish Chand ShuklaEdited By: Publish:Thu, 24 Jun 2021 06:15 AM (IST) Updated:Thu, 24 Jun 2021 11:01 AM (IST)
बकाया के कारण नगर निगम की गाडि़यों को नहीं मिला तेल, सभी वाहन खड़े
गोरखपुर नगर निगम भवन का फाइल फोटो, जागरण।

गोरखपुर, जेएनएन। मोहद्दीपुर स्थित पेट्रोल पंप के मालिक ने 43 लाख रुपये बकाया होने पर नगर निगम के वाहनों को तेल देने से मना कर दिया। इस कारण निर्माण से जुड़े वाहनों में तेल नहीं भरा जा सका। तेल न होने के कारण वाहन खड़े रहे। मैजिक वाहनों में नगर निगम के अवर अभियंताओं ने अपने पास से रुपये देकर तेल भराए।

नगर निगम प्रशासन शहर के चार पेट्रोल पंप से वाहनों में तेल भराता है। तेल का भुगतान बाद में किया जाता है। मोहद्दीपुर स्थिति पेट्रोल पंप का 43 लाख रुपये बकाया हो गया है। पंप मालिक ने अचानक वाहनों में तेल भरने से मना कर दिया। शहर के कई इलाकों में जलभराव को देखते हुए मलबा डाला जाना था। तेल न मिलने के कारण वाहन नहीं चल सके। इस कारण मलबा भी नहीं डाला जा सका।

नगर आयुक्त हुए नाराज

पेट्रोल पंप से तेल न मिलने की जानकारी के बाद नगर आयुक्त अविनाश सिंह ने अफसरों से वजह पूछी तो पता चला कि पंप मालिक का 43 लाख रुपये बकाया है। इस पर नगर आयुक्त ने नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि बकाया की जानकारी उनको दी जानी चाहिए। नगर आयुक्त ने कहा कि नगर निगम का कार्य अत्यावश्यक सेवाओं से जुड़ा है। अचानक तेल न देना भी ठीक नहीं है। अफसरों को निर्देश दिए गए हैं कि जल्द से जल्द भुगतान कराया जाए।

दो दिन पहले ही बदले हैं प्रभारी

नगर निगम में वाहनों का प्रभार दो दिन पहले ही उप नगर आयुक्त संजय शुक्ल को मिला है। इससे पहले यह प्रभार अपर नगर आयुक्त डीके सिन्हा के पास था। डीके सिन्हा 30 जून को सेवानिवृत्त हो रहे हैं। इसे देखते हुए नगर आयुक्त ने वाहनों का प्रभार उप नगर आयुक्त को सौंप दिया था। उप नगर आयुक्त को प्रभार मिलने के दो दिन बाद ही पंप से तेल न मिलने से अफसर भी हैरान दिखे। अफसरों का कहना है कि पहले और भी ज्यादा बकाया के बाद भी पंप तेल देने से मना नहीं करते थे।

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