मनपसंद दुकानों के ड्रेस पहनेंगे परिषदीय विद्यालय के छात्र
इस साल परिषदीय विद्यालयों में पढ़ने वाले बच्चे अपनी पसंद की ।
जागरण संवाददाता, खानपुर (गाजीपुर) : इस साल परिषदीय विद्यालयों में पढ़ने वाले बच्चे अपनी पसंद की दुकानों से ड्रेस खरीदकर पहनेंगे। इसके लिए शासन स्तर से सीधे अभिभावकों के खाते में धन देने की तैयारी पूरी कर ली गई है। स्कूली गणवेश (ड्रेस) के लिए छात्रों के अभिभावकों से बैंक खाता नंबर लिया जा रहा है। साथ ही साथ इसकी कोडिग भी कराई जा रही है।
कोरोनाकाल से पूर्व ड्रेस वितरण का जिम्मा विद्यालय प्रबंध समिति को दिया गया था। जहां प्रति छात्र छह सौ रुपये के हिसाब से ड्रेस की धनराशि संबंधितों के खाते में भेज दी जाती थी। प्रधानाध्यापक अपने मर्जी अनुसार किसी दुकान या डीलर से ड्रेस खरीदकर विद्यार्थियों को उपलब्ध कराते थे। विभागीय हीलाहवाली एवं लापरवाही से बच्चों में पूरे सालभर तक स्कूली ड्रेस का वितरण चलता रहता था। कई स्कूलों से ड्रेस की गुणवत्ता भी ठीक नहीं रहती थी। इस तरह की शिकायतों को दूर करने के लिए सरकार ने नया तरीका निकाला है। एमडीएम के कन्वर्जन कास्ट की तरह अब ड्रेस का पैसा भी बच्चों के अभिभावकों के खाते में सीधे डीवीटी (डायरेक्ट वेनेफिट ट्रान्सफर) के जरिए भेजने का निर्णय लिया गया है। पंजीकृत छात्र छात्राओं को शासन की ओर से निश्शुल्क शिक्षा के साथ-साथ ड्रेस जूता-मोजा स्वैटर स्कूली बैग आदि की सुविधा निश्शुल्क उपलब्ध कराने की योजना है। इसके लिए सभी संबंधित छात्रों व उनके अभिभावकों के आधार नंबर और बैंक एकाउंट नंबर लिए जा रहे हैं। ड्रेस के लिए इस बार अभिभावकों के सीधे खाते में पैसा भेजा जाएगा। लगभग 90 फीसद छात्रों के अभिभावकों का डिटेल सम्बंधित पोर्टल पर फीड किया जा चुका है जल्द ही सभी औपचारिकता पूरी कर धन भेजी जाएगी।
-राजेश सिंह, खंड शिक्षा अधिकारी सैदपुर।